भोपाल। हमीदिया अस्पताल में ब्लैक फंगस यानी म्यूकार्माइकोसिस बीमारी का सबसे कम उम्र का मरीज मिला है ,जो 3 साल की मासूम बच्ची है. अब तक देश में 9 साल तक के ब्लैक फंगस से संक्रमित मरीज मिले थे. लेकिन इतनी कम उम्र की मरीज मिलने से चिकित्सक भी हैरान है. हमीदिया की म्यूकर यूनिट में मरीजों का इलाज कर रहे डॉक्टर यशवीर जेके ने बताया कि यह हमारे लिए बड़ा चैलेंज है. इतनी कम उम्र की बच्ची को संक्रमण होने से उसे बेहोश करके ही ऑपरेशन करना पड़ा, नाक का एक पूरा हिस्सा सड़ चुका था. जिसे सर्जरी के जरिए निकाला गया है, उसकी हालत बहुत नाजुक है. अब उसका इलाज ब्लैक फंगस के हिसाब से ही होना है. ईश्वर से यही प्रार्थना है कि वह इस बच्ची को जल्द ही ठीक कर दे. देश की सबसे कम उम्र की ब्लैक फंगस मरीज का इलाज कर रहे गांधी मेडिकल कॉलेज के ईएनटी सर्जन डॉक्टर यशवीर से ETV BHARAT से बातचीत की.पेश है यह रिपोर्ट...
बच्ची के ऑपरेशन करने में कठिनाई
देश में ब्लैक फंगस के मरीज खासकर पोस्ट कोविड मिले हैं. लेकिन हैरत की बात यह है कि यह मासूम बच्ची सिर्फ 3 साल की है और इसकी कोई कोविड-19 हिस्ट्री नहीं है. बच्ची का इलाज कर रहे डॉक्टर यशवीर ने बताया कि देश की सबसे कम उम्र की ब्लैक फंगस मरीज इससे पहले हमें 18 और 20 साल के दो पेशेंट मिले थे. उसके बाद यह सबसे छोटी उम्र की मरीज है और अब तक पूरे देश में भी 9 साल तक का केस मिला है. 9 साल से कम उम्र का यह देश में ब्लैक फंगस का पहला केस सामने आया है. ईश्वर से कामना करते हैं कि बच्ची शीघ्रता से स्वस्थ हो सके. क्योंकि इस ऑपरेशन में हमें कोई अचीवमेंट नहीं मिल रहा है, ना हमें कोई खुशी हो रही है. रात भर में यही प्रार्थना कर रहा था ब्लैक फंगस इसकी जांच में ना निकले लेकिन ऐसा नहीं हुआ अब उसका इसी हिसाब से इलाज किया जाएगा और डायबिटीज का भी इलाज होगा.
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पैदाइशी डायबिटीज के कारण हुई बीमार
डॉक्टर बताते हैं कि 3 साल की बच्ची जो हमारे पास 2 दिन पहले ही आई है. जिसकी नाक में से खून आना, गाल पर सूजन और आंख में सूजन यह तीन मुख्य प्रॉब्लम है. इस बच्ची को टाइप एक डायबिटीज है यानी यह पैदाइशी डायबिटीज है और पिछले 2 साल से यह पीडियाट्रिक के अंडर ट्रीटमेंट ले रही थी, जिससे कारण पिछले 18 महीने से इंसुलिन पर चल रही है. बच्ची की कोविड की कोई हिस्ट्री नहीं है लेकिन उसको 10 दिन पहले बुखार आया था और बुखार का उन्होंने कुछ इलाज भी करवाया था. बुखार सही होने के 10 दिन बाद इस स्थिति के साथ आई है.