भोपाल। मध्यप्रदेश में चल रहा सियासी घमासान अब खत्म हो गया है. 17 दिनों की सियासी उठा-पठक के बाद आखिरकार कमलनाथ सरकार सत्ता से बाहर हो गई. लेकिन ऑपरेशन लोटस के सफल होने में कुछ अहम किरदार हैं. जिन्होंने प्रदेश में राजनैतिक शतरंज की बिसात बिछाई और अंत में बाजी मार ली.
बीजेपी के ऑपरेशन लोटस की शुरुआत तब शुरू हुई जब निर्दलीय विधायकों को दिल्ली शिफ्ट किया गया था. लेकिन ये सफल नहीं रहा और निर्दलीय कांग्रेस के पाले में वापस चले गए. इसके बाद शुरू हुआ ऑपरेशन लोटस 2.0, जिसमें कांग्रेस से बगावत कर सिंधिया बीजेपी में शामिल हो गए और उनके गुट के विधायकों ने कमलनाथ सरकार से समर्थन वापस ले लिया. जिसके बाद इन विधायकों को बेंगलुरु में शिफ्ट कर दिया गया.
इस सियासी गेम के कई अहम खिलाड़ी हैं. जिनकी शानदार परफार्मेंस की वजह से बीजेपी दोबारा सत्ता में काबिज होती दिखाई दे रही है.
सबसे पहले नाम आता है बीजेपी प्रवक्ता जफर इस्लाम का. जो सिंधिया के करीबी माने जाते हैं. जफर को ही सिंधिया को मनाने की जिम्मेदारी सौंपी गई थी. जिसे उन्होंने बखूबी निभाया.
इस पॉलिटिकल गेम में कांग्रेस विधायकों के मैनेजमेंट में बीजेपी खेमे से एक नाम काफी बार सामने आया है. वह नाम है नरोत्तम मिश्रा का. जिन पर कांग्रेस आरोप लगाती रही है कि नरोत्तम ने ही उनके विधायकों को भोपाल से बेंगलुरु शिफ्ट किया था. उनके इस काम में पूरा सहयोग किया पूर्व मंत्री संजय पाठक ने. माना जाता है कि संजय पाठक के चॉर्टर्ड प्लेन से ही विधायकों को शिफ्ट किया गया था.