भोपाल में सीबीआई ने डीआरएम दफ्तर में तैनात रेलवे कर्मचारी को रिश्वतखोरी में पकड़ा
Bhopal CBI raid : भोपाल में सीबीआई ने रेलवे के एक कर्मचारी को रिश्वतखोरी में गिरफ्तार किया है. सीबीआई यह जांच कर रही है कि उसके द्वारा अन्य किसी मामले में रिश्वत तो नहीं ली गई.
डीआरएम दफ्तर में तैनात रेलवे कर्मचारी को रिश्वतखोरी में पकड़ा
भोपाल।मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल में सीबीआई ने रेलवे के चीफ लॉ असिस्टेंट विभाग कर्मचारी को गिरफ्तार किया है. उसके खिलाफ 20 हजार की रिश्वत मांगने की शिकायत मिलने के बाद जांच की गई. शिकायत को सत्यापित करने के बाद मंगलवार रात को कर्मचारी को गिरफ्तार कर लिया गया. उसके खिलाफ एफआईआर दर्ज कर जांच शरू की गई है. सीबीआई की कार्रवाई से भोपाल डीआरएम दफ्तर में हड़कंप मचा है.
यूपीआई में रिश्वत की रकम मांगी :सीबीआई के राजीव दिनकर के अनुसार सुशील जोशी ने भोपाल सीबीआई दफ्तर पहुंचकर 8 जनवरी को लिखित शिकायत की थी. इसमें कहा गया था कि भोपाल के डीआरएम आफिस भोपाल में पदस्थ चीफ लॉ असिस्टेंट आधार सिंह उससे 20 हजार रुपए की रिश्वत की मांग कर रहे हैं. शिकायत में ये भी बताया गया कि वह रिश्वत की राशि अपने यूपीआई नंबर पर ट्रांसफर करने के लिए कह रहा है. इसके बदले में वह उसके खिलाफ कैट में चल रहे केस को डाइल्यूट करने के लिए कह रहा है.
शिकायत में ये कहा :इस शिकायत की सीबीआई ने पहले तकनीकी रूप से जांच करवाई. फरियादी को दिए गए प्रमाण का सत्यापन होने के बाद सीबीआई ने मंगलवार देर रात आधार सिंह को रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार कर लिया. उसके खिलाफ एफआईआर दर्ज कर जांच शुरू कर दी गई है. फरियादी ने सीबीआई को बताया कि आधार सिंह द्वारा साल 2022 के दो मामलों में यह रिश्वत मांगी गई. इस मामले में सुनील जोशी को पूर्व में यहां पदस्थ रहे अजय कुमार दीक्षित सीनियर डीपीओ ने उसका पक्ष सुने बिना ही एकतरफा कार्रवाई करते हुए चार्जशीट थमा दी गई थी.
अन्य मामलों की जांच जारी :फरियादी ने बताया किइसके बाद से ही आधार सिंह उससे रिश्वत की मांग रहे थे. इसलिए सुनील जोशी ने आधार सिंह को पैसे देने की जगह उसकी शिकायत सीबीआई से की. अब सीबीआई आधार सिंह के आय और संपत्ति के बारे में अलग से जानकारी जुटा रही है, जिसका ब्यौरा रिश्वत लेते पकड़े गए मामले की चार्जशीट में दिया जाएगा. सीबीआई द्वारा आधार सिंह के विरुद्ध अन्य मामलों की भी पड़ताल की जा रही है कि पूर्व में भी तो उसने इस तरह से अन्य लोगों के साथ रिश्वत लेने के लिए अपनी पोजिशन का गलत इस्तेमाल तो नही किया.