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राजधानी में एक साथ हो सकेगा 4 हजार मरीजों का इलाज, जिला प्रशासन ने बढ़ाई बिस्तरों की संख्या - corona patients can be treated simultaneously

भोपाल में कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है, जिससे जिला अस्पतालों में बेड की भारी कमी देखी गई, जिसके बाद प्रशासन ने बेड की संख्या बढ़ा दी है, ताकि कोरोना संक्रमित मरीजों का इलाज किया जा सके.

4 thousand corona patients can be treated simultaneously in Bhopal
बढ़ाई गई बिस्तरों की संख्या

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Published : Sep 27, 2020, 3:18 PM IST

भोपाल। राजधानी भोपाल में कोरोना वायरस संक्रमित मरीजों की संख्या में बढ़ोतरी होने के साथ ही यहां की व्यवस्थाओं में कमी देखने को मिली थी. पिछले कुछ दिनों से लगातार ही मरीज और उनके परिजन यह शिकायत करते हुए नजर आए कि अस्पतालों में बेड उपलब्ध नहीं है. कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या में इजाफा होने के साथ ही एक्टिव केसों की संख्या भी बढ़ी है, जिसके कारण पहले की गई व्यवस्थाओं में कमी नजर आई. पर अब जिला प्रशासन ने व्यवस्था सुनिश्चित करने के लिए पुख्ता तैयारियां कर ली गई है. शासकीय और निजी अस्पतालों में बिस्तरों की व्यवस्था को लगातार बढ़ाया जा रहा है.

बढ़ाई गई बिस्तरों की संख्या

कलेक्टर अविनाश लवानिया का कहना है कि शहर में कोरोना की स्थिति को हम लगातार मॉनिटर कर रहे हैं और उसी हिसाब से व्यवस्थाओं को बढ़ा रहे हैं. इसी कड़ी में हमीदिया अस्पताल में 240 बेड की व्यवस्था की गई है. निजी अनुबंधित अस्पताल में भी व्यवस्था की जा रही है. इसके साथ ही आयुष्मान भारत के तहत आने वाले निजी अस्पतालों में भी इलाज की व्यवस्था हमने की है. इस तरह संस्थागत इलाज से लेकर होम आइसोलेशन में इलाज दोनों बातों को ध्यान में रखकर हम कोरोना मरीजों के इलाज की व्यवस्था सुनिश्चित कर रहे है.

बता दें कि इस वक्त राजधानी भोपाल के शासकीय और निजी अस्पतालों में कुल मिलाकर करीब साढ़े 4 हज़ार बिस्तर की व्यवस्था की गई है. इसमें शासकीय और निजी अनुबंधित अस्पतालों में करीब 1,920 बिस्तर भी आरक्षित किए गए हैं और कोविड केयर सेंटर में कुल 1,079 बिस्तरों की व्यवस्था की गई है. साथ ही 60 निजी अस्पतालों का चयन कर उनमें 1,440 बिस्तर भी आरक्षित किए गए हैं. जिनमें से 445 ऑक्सीजन बेड,110 आईसीयू बेड और 61 वेंटिलेटर बेड शामिल हैं. इस तरह यदि देखा जाए तो राजधानी भोपाल में एक साथ करीब साढ़े 4 हज़ार मरीजों का उपचार किया जा सकता है.

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