Diwali 2023।दीपावली का त्योहार बुराई पर अच्छाई की जीत के रूप में मनाया जाता है इस दिन भगवान राम रावण को परास्त कर कर सीता जी को अपने साथ लेकर वनवास पूरा करने के बाद अयोध्या आए थे और तब पूरी अयोध्या नगरी ने दीप जलाकर खुशियां मनाई थी. तब से ही प्रतिवर्ष कार्तिक मास की कृष्ण पक्ष अमावस्या के दिन दीपावली का त्योहार मनाया जाता है.
10 नवंबर को मनाया जाएगा धनतेरस:इस दिन हिन्दू पर्व की शुरुआत होती है. धनतेरस के दिन से कार्तिक महीने के कृष्ण पक्ष के 13वें दिन आयुर्वेद के देवता भगवान धन्वंतरी की पूजा की जाती है. मान्यता है कि इसी दिन भगवान धन्वंतरि समुद्र मंथन में अमृत कलश लेकर प्रकट हुए थे. साथ ही धन के देवता कुबेर की उपासना भिनीसी दिन होती है. इसिलिए धनतेरस के दिन नयी चीजों की खरीदारी की जाती है.
ये रहेंगे धनतेरस के शुभ मुहूर्त: इस वर्ष धनतेरस 10 नवंबर को मनाया जाएगा. चूंकि इस त्योहार पर नयी चीजों की खरीदारी की जाती है. खासकर इस दिन ऐसे में ज्योतिषाचार्य शिव मल्होत्रा के अनुसार धनतेरस पूजा, कुबेर पूजा धन्वंतरि पूजा और बर्तन, सोना, चांदी, गाड़ी और वाहन खरीदने के लिए शुभ मुहूर्त
ये रहेंगे.
- कुंभ स्थिर लग्न मुहूर्त दोपहर 01:10 से 02:44 दोपहर तक रहेगा.
- अभिजीत सर्वश्रेष्ठ मुहूर्त दोपहर 12:03 से 12:25 दोपहर तक.
- शुभ चौघड़िया मुहूर्त दोपहर 12:03 से 01:26 दोपहर तक.
- लाभ चौघड़िया मुहूर्त- रात 08:50 से रात 10:27 तक.
- वृषभ स्थिर लग्न मुहूर्त शाम 05:55 से 07:53 शाम तक.
- प्रदोष कालबेला मुहूर्त शाम 04:52 से 06:22 शाम तक.
- चर- सामान्य चौघड़िया मुहूर्त :- शाम 04:13 से 05:37 शाम तक.
- शुभ चौघड़िया मुहूर्त : रात 12:03 से 01:39 रात तक रहेगा.
रूप चतुर्दशी का महत्व और महूर्त: धनतेरस के अगले दिन रूप चतुर्दशी है. इसे नरक चौदस या छोटी दिवाली भी कहा जाता है. मान्यता है कि इसी दिन भगवान श्रीकृष्ण ने राक्षस नरकासुर का वध किया था और उसके बाद उन्होंने तेल और उबटन से स्नान किया था. यहीं से उबटन लगाने की परंपरा शुरू हुई थी. माना जाता है कि नरक चतुर्दशी के दिन ऐसा करने से नरक से मुक्ति मिलती है और मृत्यु पश्चात स्वर्ग मिलता है. इसलिए इसदिन स्नान और उबटन का बहुत महत्व होता है.
इस वर्ष रूप चौदस 11 नवम्बर को मनायी जायेगी. वहीं बात पूजा अर्चना और स्नान के मुहूर्त की करें तो इस दिन दीपदान मुहूर्त: प्रदोष काल बेला शाम 04:52 से 06:22 शाम तक शुभ चौघड़िया मुहूर्त : रात 08:50 से 10:26 रात तक चर सामान्य चौघड़िया मुहूर्त : रात 12:03 से 1:40 रात तक रहेगा, शिव लाभ चौघड़िया मुहूर्त : शाम 05:37 से 07:13 रात तक अमृत चौघड़िया मुहूर्त : रात 10:26 से 12:03 रात तक रहेगा, वहीं रूप चतुर्दशी पर तेल उबटनके लिए 12 नवंबर रविवार 2023 को ब्रम्ह मुहूर्त प्रातः 04:46 से 05:38 प्रातः तक होगा.