बड़वानी। जिले में किसानों को रबी की फसल की सिंचाई के लिए इंदिरा सागर परियोजना की नहरों में पानी छोड़ते ही इनके गुणवत्ताविहीन निर्माण कार्य की पोल खुल गई. नहरों में पानी आते ही ये नहरें जगह-जगह से क्षतिग्रस्त हो गईं. वहीं पानी के दबाव में नहरें जमीन में धंस गईं.
पानी छोड़ते ही नहरों ने तोड़ा दम, घटिया निर्माण की खुली पोल - Indira Sagar Project canal in Barwani
बड़वानी में इंदिरा सागर परियोजना की नहरों में पानी छोड़ते ही इनके गुणवत्ताविहीन निर्माण कार्य की पोल खुल गई. पानी छोड़ते ही ये नहरें क्षतिग्रस्त हो गईं.
जिला मुख्यालय से लगे गांवों से होकर गुजरने वाली इंदिरा सागर परियोजना का निर्माण कार्य ग्वालियर की केडीएस प्राइवेट लिमिटेड एजेंसी देख रही है. मॉनिटरिंग सरकारी विभाग के नर्मदा घाटी विकास प्राधिकरण क्रमांक 11 द्वारा की जा रही है. घटिया क्वॉलिटी की नहरों में जब पानी छोड़ा गया, तो नानी गांव, बड़वानी और बोम्या गांवों में मुख्य नहरों ने ही दम तोड़ दिया. नहरों के फूटने से हजारों क्यूसेक पानी बर्बाद हो गया.
पानी से कई जगहों पर पर बरसाती झरनों जैसी स्थिति हो गई. किसानों के खेतों में पानी घुस गया. नर्मदा घाटी विकास प्राधिकरण क्रमांक 11 के सब इंजीनियर से जब ईटीवी भारत ने नहरों के निर्माण में भ्रष्टाचार और गुणवत्ता को लेकर सवाल पूछा तो उन्होंने स्वीकार किया कि विभाग और निर्माण एजेंसी ने लापरवाही बरती है.