बालाघाट। बाघिन को रवाना करने से पहले स्वास्थ्य परीक्षण व नापतौल की कार्रवाई एस.के सिंह, क्षेत्र संचालक के मार्गदर्शन में की गई. सतकोसिया टाइगर रिजर्व उड़ीसा में बाघ स्थापना कार्यक्रम के अंतर्गत वर्ष 2018 मे बांधवगढ़ से एक बाघिन को सतकोशिया भेजा गया था. कुछ अवांछित घटनाओं के पश्चात बाघिन को क्षेत्रिय नागरिकों की सुरक्षा के दृष्टिकोण से सतकोसिया टाइगर रिज़र्व में दो वर्ष तक बाड़े में रखा गया था.
केंद्र सरकार ने दिए थे निर्देश :भारत सरकार राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण नई दिल्ली द्वारा बाघ स्थापना कार्यक्रम की समीक्षा उपरांत कार्यक्रम को स्थगित करते हुये स्थानांतरित बाघिन को मप्र वापस करने के निर्देश जारी किये गए थे. इस संबंध मे एक याचिका उच्च न्यायालय मे प्रस्तुत की गयी थी. मप्र उच्च न्यायालय के 04 नवंबर 2020 के आदेशानुसार बाघिन को कान्हा टाइगर रिजर्व मण्डला मे वन्यजीव हेतु पुनः प्रशिक्षित करने हेतु निर्देशित किया गया.