बालाघाट। खाद्य विभाग की टीम ने कायनात होटल का औचक निरीक्षण किया. इस दौरान दूषित खाद्य सामग्री का विक्रय व होटल में गंदगी सहित नगर पालिका का टैक्स नहीं चुकाने के चलते होटल को सीज कर दिया गया है, जिसके विरोध में होटल संचालक अपने समर्थकों के साथ डिप्टी कलेक्टर और SDM की गाड़ी के सामने सड़क पर लेटकर प्रदर्शन करते हुए हंगामा किया. हालांकि, होटल संचालक के सामने प्रशासन को झुकना पड़ा और होटल को खोलना पड़ा, जिसके बाद ही हंगामा शांत हुआ.
रोड पर लेटकर दुकान संचालक ने किया विरोध
कलेक्टर के निर्देश पर खाद्य सुरक्षा अधिनियम का पालन सुनिश्चित कराने के लिए जिले में विभिन्न खाद्य सामग्री विक्रय करने वाले प्रतिष्ठानों की आकस्मिक जांच की जा रही है. इसी कड़ी में जिला प्रशासन, नगर पालिका व खाद्य सुरक्षा अधिकारियों की टीम ने होटल कायनात का आकस्मिक निरीक्षण किया, जहां गंदगी और दूषित खाद्य सामग्री पाई गई. जांच में ये भी पाया गया कि होटल मालिक ने 35 हजार की संपत्ति का लगभग 20 हजार रुपये का जल कर जमा नहीं किया है और गुमास्ता एक्ट का पालन भी नहीं कर रहा है.
जब प्रशासनिक अमले ने कायनात होटल को नियमों के तहत संचालित नहीं होना पाया तो सीलिंग कार्रवाई शुरु कर दी, जिसके बाद होटल संचालक और स्टाफ ने होटल को सील नहीं करने के लिए बहस शुरु कर प्रदर्शन करना शुरू कर दिया. प्रदर्शन में डिप्टी कलेक्टर और SDM के वाहन के सामने प्रदर्शनकारी सड़क पर लेट गए और होटल को खोलने की मांग करने लगे. इस मामले को लेकर नगर पालिका के स्वास्थ्य शाखा प्रमुख मयूर वाहने ने बताया कि होटल संचालक ने विगत 7 सालों से टैक्स नहीं भरा है, और न ही रजिस्ट्रेशन कराया है.
CSP देवेन्द्र यादव ने बताया कि खाद्य विभाग द्वारा जारी कार्रवाई के तहत होटल कायनात के संचालक सहित अन्य लोगों ने होटल को सीज करने का विरोध किया था, जिसके बाद सभी को समझाइश देकर यातायात को पुनः खोल दिया गया है. नगर में कार्रवाई के दौरान हुए हंगामे और विरोध प्रदर्शन के बाद इस मामले को कलेक्टर दीपक आर्य ने संज्ञान में लिया है और कहा कि होटल सील करने में व्यवधान डालने वालों की पहचान कर ली गई है और शासकीय कार्य में बाधा डालने वाले किसी भी व्यक्ति को बख्शा नहीं जाएगा.