आगर। कोरोना वायरस के खिलाफ जारी इस जंग में अब ग्रामीण स्तर पर सख्ती बरती जा रही है. गांवों में युवाओं द्वारा गांव की सीमा और मुख्य द्वार पर पहरा दिया जा रहा है. जिले के कई गांवों में नाकाबंदी कर दी गई है, जिसके तहत बाहरी शख्स गांव में प्रवेश तक नहीं कर पाएं. सुसनेर से 10 किलोमीटर दूर गणेशपुरा गांव में बुजूर्ग भी युवाओं के साथ हाथों में लट्ठ लिए पहरे पर डटे हुए हैं.
कोरोना के खिलाफ जंग: गांव के मुख्य द्वार पर दिन-रात पहरा दे रहे 'वॉरियर्स', बाहरी लोगों की नो एंट्री - कोरोना वायरस
कोरोना वायरस के बढ़ते संक्रमण के समय में भी आगर-मालवा में सख्ती दिख रही है. सोशल डिस्टेंसिंग का अच्छे से पालन हो सके इसके लिए अब ग्रामीण इलाकों में सख्ती बरती जा रही है.
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कोरोना के खिलाफ जंग
गांव के चोकीदार अंदरसिंह और गोपीलाल का कहना है कि अब कोरोना को लेकर कोई ढिलाई नहीं होगी. गांव में पूरी तरह से नो एंट्री लागू कर दी गई है. इस कार्य में ग्राम रक्षा समिति और गांव के कई लोग शामिल हैं. बेहद जरूरी काम होने पर लोगों को गांव से बाहर जाने दिया जा रहा है. ग्रामीण दिन रात पहरा देकर अपने गांव को सुरक्षित बनाए हुए हैं.