आगर-मालवा। कलेक्टर संजय कुमार ने बेटियों के लिए 'बेटी की पेटी' नाम का एक नया माध्यम तैयार किया है. इसके द्वारा जो बेटियां किसी दबाव के चलते अपनी समस्याएं नहीं बता पाती थीं, वे अब लिखकर प्रशासन को अपनी समस्याएं बता पाएंगी. पेटी उन सभी जगहों पर लगाई जाएगी, जहां से बालिकाओं का सीधा जुड़ाव है. इन पेटियों को कलेक्टर खुद अपने नियंत्रण में रखेंगे.
'बेटी की पेटी' की हुई शुरूआत, समस्याएं लिखकर प्रशासन को बता सकेंगी बेटियां
आगर-मालवा में कलेक्टर ने संजय कुमार ने बेटियों के लिए 'बेटी की पेटी' की शुरूआत की है. इसके माध्यम से बेटियां अपनी समस्याएं लिखकर प्रशासन को बता सकेंगी.
जिले के सभी हॉस्टल, थानों, आंगनबाड़ी केंद्रों के साथ ही सार्वजनिक स्थानों और ग्राम स्तर पर 'बेटी की पेटी' शीर्षक देकर एक बंद पेटी रखी जायेगी. इसमें कोई भी बालिका किसी भी प्रकार की समस्या लिखकर डाल सकती है. निश्चित दिनांक को प्रशासनिक अधिकारियों की निगरानी में ये पेटियां खोली जाएंगी.
कलेक्टर संजय कुमार ने बताया कि बालिकाएं परेशानी और अनकही बातें बता नहीं पाती हैं. लेकिन इस अनोखी पहल से निश्चित ही बालिकाओं की समस्याएं प्रशासन के सामने आएंगी और उनका निराकरण हो सकेगा. कलेक्टर ने कहा कि बाल विवाह, शैक्षणिक सहित अन्य समस्याओं के निराकरण के लिए बालिकाएं निडर होकर समस्या लिखकर पेटी में डालें.