उज्जैन।बीजेपी नेता सुल्तानसिंह शेखावत के नागदा में संचालित एक उद्योग से मजदूरों को निकाले जाने को लेकर दिए गए बयान के बाद राजनीतिक सरगर्मियां बढ़ गई हैं. विधायक, पूर्व विधायक सहित सभी प्रमुख नेता इस मुद्दे पर एक दुसरे पर आरोप- प्रत्यारोप लगाने लगे हैं.
उज्जैन: नागदा की कंपनी से कर्मचारियों को निकाले जाने का मामला, बीजेपी और कांग्रेस में गरमाई सियासत - Politics on workers employment
नागदा में संचालित एक उद्योग से मजदूरों को निकाले जाने को लेकर राजनीति गरमाने लगी है, कांग्रेस और बीजेपी इसे एक दूसरे की नाकामयाबी साबित करने में लगी है.
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विधायक दिलीप सिंह गुर्जर ने कहा कि, मजदूरों को इस तरह से निकाला जाना श्रम संगठन व सत्ताधारी भारतीय जनता पार्टी की श्रमिक विरोधी नीतियों को उजागर कर रहा है. मामले में भारतीय मजदूर संघ के नेता व पूर्व कैबिनेट मंत्री सुल्तान सिंह शेखावत ने सभी से अपील की है कि, वो इस पर राजनीति न करें, बल्कि इस मामले में मजदूरों की भलाई के लिए काम करें. वहीं बीजेपी नेता दिलीप सिंह शेखावत ने कांग्रेस पर पलटवार करते हुए कहा कि, पहले भी कांग्रेस कार्यकाल मे ही श्रमिकों को वीआरएस दिया गया था और वर्तमान मे भी उनके विधायक रहते ये हो रहा है. क्यों न वो विधायक होने के नाते प्रबंधन के खिलाफ धरने पर बैठे.