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ऑनलाइन धोखाधड़ी करने के अंतरराज्यीय गिरोह का पर्दाफाश

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Published : Feb 8, 2021, 5:20 PM IST

उज्जैन के नागझिरी थाना क्षेत्र में ऑनलाइन धोखाधड़ी और घर में चोरी के दो बड़े मामले सामने आए हैं. जिसको अंजाम देने वाले 3 आरोपियों को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है, जबकी एक अभी फरार है.

cyber crime
साइबर क्राइम

उज्जैन। नागझिरी थाना क्षेत्र में दो बड़े चोरी और लूट के मामले सामने आए हैं. पहला मामला ऑनलाइन धोखाधड़ी का है, जहां रुक्मणी मोटर्स के मालिक के नाम पर बैंक ऑफ इंडिया के के बैंक मैनेजर के साथ की गई. वहीं दूसरा मामला चकरावदा टोल नाके के प्रभारी के घर का है, जहां उनके यहां काम करने वाली महिला ने टोल कलेक्शन पर हाथ साफ कर दिया. दोनों ही मामले में पुलिस ने 3 आरोपियों को गिरफ्तार किया है, वहीं एक फरार की तलाश की जा रही है.

एडिशनल एसपी अमरेंद्र सिंह

उज्जैन पुलिस की जनता से अपील

एडिशनल एसपी अमरेंद्र सिंह ने कहा कि किसी अज्ञात व्यक्ति द्वारा उनके फोन पर कॉल कर उनके खाते बैंक संबंधित अन्य जानकारी चाहने पर किसी प्रकार की जानकारी साझा ना करें. परंतु अपने संबंधित बैंक व पुलिस को सूचना दे सावधान रहें सुरक्षित रहें.

एडिशनल एसपी अमरेंद्र सिंह

पहला मामला ऑनलाइ फ्रॉड का

5 जुलाई 2019 को बैंक ऑफ इंडिया नागझिरी के ब्रांच मैनेजर उज्जैन मनीष भार्गव ने इसकी शिकायत की थी, जिसमें उन्होंने बताया कि अज्ञात व्यक्ति ने रुकमणी मोटर्स का मालिक होने का कह के खाते की जानकारी मांगी और वाहन खरीदे के नाम पर खाते से 2 लाख 70 हजार रुपये का RTGS कराया.

जब मोटर्स के मालिक से इस बारे में जानकारी चाही गई तो उन्होंने RTGS कराने से इनकार कर दिया, जिसके बाद अज्ञात व्यक्ति के खिलाफ नागझिरी थाना में ऑनलाइन धोखाधड़ी का मामला दर्ज कराया गया.

जांच के दौरान अज्ञात खाता धारक आरोपी की पहचान मेरठ (उत्तर प्रदेश) निवासी 27 साल के कुलदीप कुमार के रूप में की गई, जिसे पुलिस ने गिरफ्तार किया कर पूछताछ किया. पूछताछ में आरोपी ने अपने साथी (पुनीत पुनिया) के बारे में बताया जो (गाजियाबाद) उत्तर प्रदेश का रहने वाला है, पुलिस ने उसे भी गिरफ्तार कर लिया. दोनों से शख्ती से पूछताछ में एक और आरोपी के बारे में पता चला जो अभी फरार है.

ट्रू कॉलर की लेते थे सहायता

आरोपियों ने बताया कि वो प्लान करके जिस किसी व्यक्ति या फर्म के नाम पर धोखाधड़ी करना चाहते है, उसके नाम से अपने नंबर का ट्रू कॉलर अकाउंट बनाते है, उसके बाद जिसके साथ धोखाधड़ी करना होता है उसे फोन लगाते है. ट्रू कॉलर में फर्म या व्यक्ति का नाम आने पर उन्हें भरोसा हो जाता है कि वहीं व्यक्ति कॉल कर रहा है, तो वो भिर वारदात को अंजाम देते हैं.

दूसरा मामला चोरी का

7 फरवरी 2021 को चकरावदा नाका प्रभारी ने शिकायत की थी कि उनके घर में काम करने वाले महिला ने नगदी चोरी की है. उन्होंने शिकायत में बताया कि 6 फरवरी को मिले टोल कलेक्शन 3 लाख 36 हजार 160 रुपये घर में लाकर रखे थे, जिसमें से 50 हजार रुपये गायब मिले. उन्होंने इसकी शंका खुद के घर में काम करने वाली महिला पर जताई, जिस पर पुलिस ने महिला से पूछताछ की तो उसने चोरी कुबूल कर लिया.

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