सतना :गर्मी के दिनों में पलाश का फूल जंगलों की शोभा बढ़ाता है. पलाश के पेड़ में लगने वाला टेसू का फूल (Tesu flower) शास्त्रों में तीन रंग लाल, सफेद और पीले रंग का बताया गया है. लेकिन सफेद और पीला फूल का खिलना किसी अजूबे (Rare yellow palash flower) से कम नहीं होता है. मध्य प्रदेश के सतना जिले के मझगवां (Satna Majhgawan yellow Palash tesu flower) क्षेत्र में एक पेड़ ऐसा है, जिसमें पीले रंग का फूल खिलता है. लोगों की मान्यता है कि इस पेड़ के फूल तोड़ने वाले को पाप लगता है. इसलिए लोग फूल तोड़ते नहीं है, बल्कि जो फूल अपने आप नीचे गिर जाते हैं उन्हें लोग अपने घर ले जाते हैं और बड़ी ही श्रद्धा के साथ पूजा स्थल पर रखते हैं.
पलाश का पेड़ भारत में अधिकांश भागों में पाया जाता है. इसके फूलों को टेसू के फूल (Tesu ka fool) के नाम से भी जाना जाता है. लाल पलाश के पुष्प को जहां उत्तर प्रदेश और अन्य राज्यों में राजकीय पुष्प का दर्जा देकर सम्मान दिया गया है, तो वहीं दुर्लभ प्रजाति के पीले रंग के फूल वाले पलाश को संरक्षित किया जा रहा है. सतना में खिला पलाश का पीला फूल (Tesu ka phool) लोगों के लिए कौतूहल (Rare tree flower ) का विषय बना हुआा है. गर्मियों में लोग दूर-दूर से यहां इस पेड़ के फूल को देखने आते हैं. धार्मिक मान्यताओं के अनुसार इसका फूल खजाने में रखने से खजाना कभी खाली नहीं होता है. तंत्र-साधना में भी इस फूल का इस्तेमाल होता है. इसे देवी-देवताओं को भी अर्पित किया जाता है.
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