इंदौर।मध्यप्रदेश में शराबबंदी को लेकर सियासी संग्राम छिड़ा हुआ है. कुछ नेता इसके समर्थन में है तो कुछ नेता इसके विरोध में है. इसको लेकर उमा भारती भी खूब चर्चा में हैं. उनके शराबबंदी को लेकर आंदोलन की चेतावनी के बाद अब कैलाश विजयवर्गीय मैदान में कूद गए हैं. कैलाश विजयवर्गीय ने भी इंदौर के पितृ पर्वत पर नशा मुक्ति केंद्र (MP liquor prohibition center) खोलने का ऐलान कर दिया है. जहां युवाओं को नशे की लत से मुक्ति दिलाने की पहल की जाएगी.
एमपी में कैलाश विजयवर्गीय बनवाएंगे नशा मुक्ति केंद्र युवाओं के लिए कैशाल विजयवर्गीय बनवाएं नशा मुक्ति केंद्र
कैलाश विजयवर्गीय की इस नशा मुक्ती अभियान के तहत युवाओं को शराब और नशाखोरी से छुटकारा दिलवाया जाएगा. इसके लिए इंदौर में एक टीम गठित की जा रही है. जो युवाओं को शराब और नशे से मुक्त करा कर धर्म, आध्यात्म, संस्कारों और संस्कृति से जोड़ने का काम करेगी. पितृ पर्वत पर व्यवस्था के लिए अलग से स्थान भी चिन्हित किया जा रहा है. जहां विशेषज्ञों की देखरेख में नशा मुक्ति केंद्र और युवाओं के लिए नए सिरे से आध्यात्म का केंद्र संचालित किया जा सकेगा. (Kailash Vijayvargiya build de-addiction center)
पितृ पर्वत है चर्चित जगह, जानें वजह
इंदौर के गांधीनगर पहाड़ी के पास विकसित किया गया पितृ पर्वत यानी की पितरेश्वर धाम पर हनुमान जी की अष्टधातु की सबसे विशाल 90 टन वजनी प्रतिमा है. जो कैलाश विजयवर्गीय और उनके समर्थकों ने स्थापित करवाई है. शहर ही नहीं देश भर से श्रद्धालु प्रतिमा के दर्शन करने पहुंचते हैं. इस पहाड़ी पर इंदौर के लोगों ने अपने पूर्वजों की याद में वृक्षारोपण भी किया है. जिससे पूरा पहाड़ा हरा-भरा दिखाई देता है. हनुमान जी की प्रतिमा को स्थापित करने के लिए करीब 18 साल पहले कैलाश विजयवर्गीय ने प्रण लिया था. जिसमें उन्होंने कहा था कि जब तक पितृ पर्वत पर हनुमान जी की मूर्ति स्थापित नहीं हो जाती तब तक वह अन्य ग्रहण नहीं करेंगे. मूर्ति स्थापित होने के पहले वह सिर्फ राज गिरे के आटे की रोटी और फल ही ग्रहण करते थे. (mp excise policy 2022) (MP liquor ban politics)
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इसलिए बनेगा नशा मुक्ति केंद्र
कैलाश विजयवर्गीय का मानना है कि यहां दूर-दूर से श्रद्धालु हनुमान जी का दर्शन करने के लिए आते हैं.यहां बड़ी संख्या में आध्यात्मिक लोगों का और युवाओं का आना जाना होता है. इसलिए नशा मुक्ति केंद्र के लिए यह स्थान ठीक माना जा रहा है. पितरेश्वर हनुमान धाम पर 72 फीट चौड़ी हनुमान जी की मूर्ति मौजूद है. इसकी लागत करीब एक करोड़ आई है. हनुमान जी की यह मूर्ति दुनिया की सबसे बड़ी मूर्ति मानी जाती है. हनुमान जी की मूर्ति पर जर्मनी से मंगवाई गई लेजर लाइट भी लगाई गई है, जो अंधेरा घिरने के बाद हनुमान चालीसा के पाठ के साथ अपनी रंगीन आवाज बिखेरती है. इससे यह नजारा श्रद्धालुओं के बीच आकर्षण का केंद्र रहता है.