मध्य प्रदेश

madhya pradesh

ETV Bharat / city

कोरोना संकटकाल में ड्यूटी से नदारद डॉक्टर, प्रशासन ने जारी किया कारण बताओ नोटिस

कोरोना संकटकाल में भी ड्यूटी से नदारद रहने वाले डॉक्टरों के खिलाफ इंदौर प्रशासन ने कड़ा रुख अख्तियार कर लिया है. इंदौर कलेक्टर ने इन सभी डॉक्टरों को कारण बताओ नोटिस जारी किया है. कलेक्टर का कहना है कि अगर ये सभी डॉक्टर वक्त रहते वापस नहीं आते तो उनकी सेवा भी समाप्त की जाएगी.

indore news
डॉक्टरों को जारी किया गया नोटिस

By

Published : May 2, 2020, 9:53 AM IST

इंदौर। कोरोना संकटकाल में भी ड्यूटी के दौरान अस्पताल से गायब रहने वाले डॉक्टरों के खिलाफ कलेक्टर मनीष सिंह ने कार्रवाई करते हुए 10 सरकारी डॉक्टरों कारण बताओं नोटिस जारी किया है. ये सभी सरकारी डॉक्टर ऑनलाइन भेजे गए नोटिसों के बावजूद भी काम पर नहीं आ रहे थे.

इंदौर में कोरोना के मरीजों की लगातार बढ़ती संख्या के चलते शहर में डॉक्टरों की कमी महसूस की जा रही है. हालांकि अस्पतालों में डॉक्टरों को ही कोरोना वायरस के लिए प्रदाय किए जाने वाले संसाधन मुहैया नहीं हो रहे हैं, जिससे डॉक्टरों में भी डर बढ़ रहा है. ऐसे डॉक्टरर जो रिटायरमेंट के करीब हैं और विभिन्न तरह की गंभीर बीमारियों से ग्रसित हैं, उन्हें भी ड्यूटी पर तैनात कर दिया गया है, लिहाजा कई डॉक्टर संक्रमण से खतरे की आशंका के चलते ड्यूटी नहीं कर पा रहे हैं. इन तमाम परिस्थितियों को नजरअंदाज करते हुए जिला प्रशासन अब अस्पतालों से नदारद रहने वाले डॉक्टरों के खिलाफ कठोर कार्रवाई कर रहा है.

इन डॉक्टरों के खिलाफ कार्रवाई होगी

डॉ. मधु भार्गव सिविल डिस्पेंसरी जूनी इंदौर, डॉ. रीना जायसवाल जिला चिकित्सालय, डॉ. नीलम बरनवाल जिला चिकित्सालय, डॉ.वीएस होरा स्थानीय कार्यालय, डॉ. प्रीति शाह भंडारी अरण्य नगर, डॉ.मधु व्यास एमओजी लाइन, डॉ. भारती द्विवेदी जिला चिकित्सालय, डॉ. सतीश नेमा जिला चिकित्सालय और डॉ. प्रियंका सखरिया पीएचसी होल्कर कालेज. ये सभी सरकारी डॉक्टर ड्यूटी पर नहीं आ रहे हैं. वहीं एक अन्य महिला चिकित्सक डॉ. रुचि शेखावत को भी कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है. कलेक्टर मनीष सिंह का स्पष्ट कहना है कि इन सभी सरकारी डॉक्टरों को सेवा से बर्खास्त किया जाएगा.

ABOUT THE AUTHOR

...view details