भोपाल।मध्य प्रदेश में पंचायत चुनाव के दूसरे चरण के नतीजों में ये साफ तौर पर देखा गया कि जनता ने परिवारवाद को फिर नकार दिया है. पहले चरण में भी जनता ने नेताओं के परिजनों को पसंद नहीं किया था. जनता ने पंचायत चुनावों में युवाओं और उच्च शिक्षित प्रत्याशियों को ज्यादा पसंद किया है.
इन दिग्गजों के परिजनों को मिली हार:विदिशा जिले के शमशाबाद से बीजेपी विधायक राजश्री सिंह की बेटी यशोधरा सिंह जिला पंचायत चुनाव हार गईं, तो वहीं बड़वानी से कांग्रेस विधायक ग्यारसी लाल रावत की पत्नी लता देवी और पुत्र राकेश रावत भी चुनाव हार गए. लता देवी जिला पंचायत की अध्यक्ष भी रह चुकी हैं. धार जिले में कांग्रेस से लोकसभा चुनाव लड़ चुके फिर बीजेपी में शामिल हो गए दिनेश अग्रवाल जिला पंचायत का चुनाव हार गए हैं. मंत्री विजय शाह और कांग्रेस नेता अजय शाह की बहन रानू शाह भी नरसिंहपुर से जिला पंचायत चुनाव हार गईं. हालांकि, अपने क्षेत्र में विजय शाह का बेटा दिव्यादित्य खंडवा से बड़े अंतर से चुनाव जीता.
MP Panchayat Election: रेडियो जॉकी लक्षिका डागर बनीं सबसे कम उम्र की सरपंच, अब बदलेंगी गांव की तस्वीर
वहीं, गुढ़ से विधायक नागेंद्र सिंह के भतीजे प्रणव सिंह चुनाव जीते, जबकि बीजेपी महिला मोर्चा रीवा की जिला अध्यक्ष जिला पंचायत सदस्य का चुनाव हार गईं. हालांकि, पूर्व विधायक ममता मीणा जिला पंचायत चुनाव जीत गईं, वहीं मंत्री रामखेलावन के भाई विजय पटेल की पत्नी तारा पटेल सतना जिले में जीत गईं, तो रीवा जिला पंचायत उपाध्यक्ष विभा पटेल चुनाव हार गईं. बालाघाट से बीजेपी के राजन नीरे चुनाव जीते.
Panchayat Election in MP:चम्बल के सबसे खूंखार डकैत रहे मलखान सिंह की पत्नी निर्विरोध चुनी गईं सरपंच, विरोध में नहीं उतरा कोई कैंडिटेट
विधायक सुमित्रा कास्डेकर और चंद्रभागा किराड़े सहित कई नेताओं के परिजन हारे. स्वास्थ्य मंत्री प्रभु राम चौधरी की भांजी बेगमगंज की पंचायत बेरखेड़ी से सरपंच का चुनाव जीत गई. वहीं, कांग्रेस ने दावा किया है कि देवास और मंदसौर जिले में उसके समर्थित उम्मीदवार जीते हैं. अब तक पंचायत चुनाव में जिला पंचायत भोपाल, ग्वालियर, देवास, धार छिंदवाड़ा, बालाघाट, मंदसौर में कांग्रेस समर्थकों ने जीत दर्ज की है.(Familism politics rejected in MP Panchayat Elections )(MP Panchayat Elections 2022 )