भोपाल। मध्य प्रदेश में 28 सीटों पर हो रहे उपचुनाव के लिए कांग्रेस ने अपना वचन पत्र फिर से जारी किया है. प्रदेश में 15 महीने अपनी सत्ता चलाने वाले कमलनाथ ने विधानसभा चुनाव 2018 के पहले भी एक वचन पत्र जारी किया था, जिसमें 973 मुद्दों को शामिल किया गया था और इस बार उपचुनाव में 574 मुद्दों को शामिल किया गया है. यानी 230 विधानसभा सीटों पर चुनाव के लिए 973 बिंदु और 28 सीटों के लिए 52 वचन कांग्रेस ने शामिल किए हैं.
साल 2018 के विधानसभा चुनाव के दौरान कांग्रेस ने वचन पत्र जारी करते हुए कहा था कि वह केवल चुनावी वादे नहीं हैं, बल्कि उन्हें पूरा भी करेगी. जिसमें सबसे बड़ा वादा था किसान कर्ज माफी, जिसके दम पर शायद कांग्रेस ने सत्ता में वापसी भी की थी. इसलिए इस बार भी किसान कर्जमाफी को ही प्रमुख मुद्दा बनाया गया है.
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पिछले और नए वचनपत्र में ज्यादा अंतर नहीं
कुल मिलाकर देखा जाए तो कांग्रेस के पुराने वचन पत्र और उपचुनाव के वचन पत्र मे कुछ ज्यादा अंतर नहीं है. कांग्रेस ने एक बार फिर से कर्ज माफी का पेंतरा किसानों के बीच फेंका है. इसके साथ ही ग्वालियर चंबल में खासतौर से जब बीजेपी सिंधिया को गद्दार कहती थी, उसी से जुड़े एक मामले को लेकर कांग्रेस अब रानी लक्ष्मीबाई की वीरता और शौर्य को प्रचार-प्रसार भी कर रही है.
कुछ अन्य मुद्दें जो इस बार शामिल किए गए
कांग्रेस ने वचन पत्र में कुछ अलग मुद्दे भी शामिल किए हैं. जिनमें शैक्षणिक संस्थाओं में कोरोनाकाल में अलग-अलग कार्यक्रम आयोजित करने का वादा किया गया है. इसके साथ ही बेटियों के विवाह के लिए पिछली बार की तरह इस बार भी 51 हजार की राशि और 100 रुपए में 100 सो यूनिट बिजली देने का वचन कांग्रेस ने फिर से दिया है.
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हालांकि इस बार कांग्रेस ने बेरोजगार भत्ते का जिक्र नहीं किया है, सिर्फ युवाओं को रोजगार देने की दिशा में ठोस कदम उठाने का वादा किया है. खासतौर से ग्वालियर चंबल के युवाओं को सेना अर्धसैनिक बल और संस्थाओं में भर्ती के लिए प्रशिक्षण देने का वादा किया है.