चाईबासा: लॉकडाउन के कारण दूसरे राज्यों में फंसे मजदूरों को झारखंड सरकार की ओर से लाने का दौर जारी है. परंतु इन प्रवासी मजदूरों को क्वॉरेंटाइन सेंटर में बेहतर सुविधा नहीं मिल पा रही है और ना ही इन मजदूरों का स्वाब टेस्ट सैंपल भी नहीं लिया जा रहा है.
क्वॉरेंटाइन सेंटर का मंत्री ने निरीक्षण किया
प्रवासी मजदूरों का हल चाल जानने राज्य के पेयजल एवं स्वच्छता मंत्री मिथिलेश कुमार ठाकुर क्वॉरेंटाइन सेंटर पहुंचे और मजदूरों से बात चीत कर जिला के अधिकारियों को फटकार लगाई. पश्चिमी सिंहभूम जिला के दौरे पर पहुंचे पेयजल एवं स्वच्छता मंत्री मिथिलेश कुमार ठाकुर को जब इसकी जानकारी मिली तो उन्होंने जिला प्रशासन की ओर से डीटीआई में बनाए गए क्वॉरेंटाइन सेंटर का निरीक्षण किया. निरीक्षण के क्रम में प्रवासी मजदूरों से बातचीत भी की जिसमें मजदूरों ने बताया कि क्वॉरेंटाइन सेंटर में एक वक्त ही खाना नसीब हो रहा है. संत विवेका स्कूल में बनाए गए क्वॉरेंटाइन सेंटर का भी मंत्री मिथिलेश ठाकुर ने निरीक्षण किया. यहां इन मजदूरों के लिए प्रशासन की ओर से ना तो बेड की व्यवस्था की गई है और ना ही सुरक्षा व्यवस्था दी गई है. वहां सभी मजदूर अपने गमछे एवं चादर बिछाकर एक एक कमरे में 15 से 20 मजदूर रहने को विवश है.