झारखंड

jharkhand

ETV Bharat / state

भोजन की तलाश में दाल भात केंद्रों पर जुट रहे जरूरतमंद, सोशल डिस्टेंस का रखते हैं पूरा ख्याल - दाल भात केंद्र सरायकेला

सरायकेला में दाल भात केंद्रों पर खाने के लिए जुट रहे जरूरतमंद सोशल डिस्टेंस का पूरा ख्याल रखते हैं. जहां एक ओर शहरी क्षेत्र के लोग सोशल डिस्टेंस का उल्लंघन करने से बाज नहीं आते, ऐसे में ये ग्रामीण एक मिसाल पेश कर रहे हैं.

People take full care of social distance at Dal Bhat centers in saraikela
दाल भात केंद्रों पर लोग रखते हैं सोशल डिस्टेंस

By

Published : May 6, 2020, 12:27 PM IST

सरायकेला: कोरोना वायरस संक्रमण को लेकर देशभर में लॉकडाउन 3.0 जारी है. घातक संक्रमण के खतरे को कम करने के लिए सरकार और स्थानीय जिला प्रशासन कई उपाय भी कर रहे हैं, इस बीच रोजाना कमा कर खाने वाले लोग सबसे ज्यादा प्रभावित हुए हैं. वहीं, जिले में औद्योगिक क्षेत्र में काम करने वाले 2 लाख से भी अधिक मजदूर और उनके आश्रित इस लॉकडाउन में जबरदस्त तरीके से प्रभावित हुए हैं. बिना काम ये दिन तो काट रहे हैं, लेकिन पेट की आग के चलते मजदूरों का तबका, दिन भर दाल भात केंद्रों पर भोजन की जुगत में लग जाते हैं.

देखें पूरी खबर

लॉकडाउन में जिले में विभिन्न क्षेत्रों में चल रहे मुख्यमंत्री दाल भात केंद्र, दीदी किचन और भाजपा के मोदी आहार भोजनालय पर प्रतिदिन सैकड़ों और हजारों की संख्या में जरूरतमंद लोग भोजन प्राप्त करने जुट रहे हैं. एक तरफ जहां शहरी क्षेत्र में लोग रोजाना सोशल डिस्टेंस को भूलकर लॉकडाउन को तोड़ रहे हैं. वहीं, इन दाल भात केंद्रों पर खासकर ग्रामीण क्षेत्र में संचालित होने वाले केंद्र सोशल डिस्टेंस मामले में नायाब मिसाल पेश कर रहे हैं. मई का महीना है लिहाजा कड़े धूप के बीच भी जरूरतमंद भोजन के लिए जद्दोजहद कर रहे हैं. ग्रामीण क्षेत्र के इन दाल भात केंद्रों पर यह मजदूर वर्ग के लोग कतार बद्ध होकर विशेष तौर पर सोशल डिस्टेंसिंग को नहीं भूलते.

ये भी पढ़ें-साइबर क्राइम: PM फंड से रुपए मिलने के लालच में छात्रा हुई ठगी की शिकार

बर्तनों को लाइन में लगा कर कर रहे सोशल डिस्टेंसिंग का पालन

मजदूर और जरूरतमंद लोग दाल भात केंद्रों पर सुबह होते ही जुट जाते हैं और यह सभी अपने बर्तनों को ही कतारबद्ध तरीके से सजाकर सोशल डिस्टेंस अपनाते हैं, जिसके बाद बारी-बारी से ये अपना और अपने परिवार के लिए अपने बर्तनों में भोजन प्राप्त करते हैं .

14 स्थानों पर चल रही सामुदायिक रसोई

लॉकडाउन में जरूरतमंद लोगों को भोजन मुहैया कराने के उद्देश्य से जिला प्रशासन और सामाजिक संस्थाओं के सहयोग से कुल 14 स्थानों पर सामुदायिक रसोई संचालित कर रहा है. जहां प्रतिदिन सैकड़ों लोग भोजन प्राप्त करते हैं. इसके साथ ही जिला पुलिस भी सामुदायिक रसोई अक्षया का संचालन कर रही है, इसके अलावा भाजपा के मोदी आहार भोजनालय में भी प्रतिदिन डेढ़ हजार लोगों को भोजन के रूप में दाल-भात सब्जी उपलब्ध कराए जा रहे हैं.

पेट की आग बुझाने मजदूर और जरूरतमंद लोग रोजाना इन सामुदायिक केंद्र और दाल भात केंद्रों पर जुट रहे हैं. भूखे होने के बावजूद ये इस आपदा की घड़ी में सामाजिक दूरी अनुपालन को नहीं भूलते और कम पढ़े लिखे और जानकार होने के बावजूद भी सोशल डिस्टेंसिंग को बेहतर तरीके से बनाए रखते हैं जो सच में एक मिसाल है.

ABOUT THE AUTHOR

...view details