रांची: नेशनल कमोडिटी डेरिवेटिव्स एक्सचेंज (एनसीडेक्स) के प्लेटफोर्म पर बिरसा कृषि विश्वविद्यालय के संयुक्त तत्वावधान में कमोडिटी डेरिवेटिव्स मार्केट विषय पर वेबिनार किया गया. इस दौरान जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन भी हुआ. वेबिनार में मुख्य वक्ता नाहेप-कास्ट परियोजना के मुख्य अन्वेंषक डॉ एमएस मल्लिक ने कमोडिटी मार्केट की वस्तुओं को खरीदने और बेचने का तरीका बताया. उन्होंने कहा कि यह शेयर मार्केट की तरह ही काम करता है, जहां वस्तुओं के शेयर को खरीद और बेच कर मुनाफा कमा सकते हैं. कमोडिटी एक ट्रेडिंग उत्पाद होता है. इसमें सिर्फ निवेश नहीं, बल्कि ट्रेडिंग की जा सकती है.
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कमोडिटी बाजार में वस्तुओं की मांग और आपूर्ति का विशेष महत्त्व होता है. विश्व के अधिकतर कमोडिटी बाजार कृषि उत्पादों और कच्चे वस्तुओं का कारोबार करते हैं. साथ ही समन्वित कृषि प्रणाली में कृषि उत्पादों की कम मात्रा से व्यापार में आ रही दिक्कतों पर चर्चा की. मौके पर नाहेप-कास्ट परियोजना के उद्यान सलाहकार डॉ अंगदी रब्बानी ने बागवानी फसलों की कम सेल्फ लाइफ से नुकसान से बचाव के लिए प्रभावी व्यापार व्यवस्था अपनाने की आवश्यकता जताई.