रांची: प्रदेश के 20 नगर निकायों में राजस्व संग्रहण कर रही एजेंसी स्पैरो सॉफ्टेक प्राइवेट लिमिटेड से किए जा रहे कार्यों में अनियमितता और लापरवाही बदस्तूर जारी है. इसे लेकर राज्य सरकार के नगर विकास और आवास विभाग नें गुरुवार को एजेंसी को शो कॉज जारी किया है. राज्य शहरी विकास अभिकरण से जारी शो कॉज में स्पष्ट शब्दों में चेतावनी दी गयी है कि तीन दिन के अंदर अगर संतोषप्रद जवाब नही मिला तो लापरवाही के कारण जो राजस्व की क्षति हुयी है, उसकी भरपायी की जाए.
बता दें कि वर्तमान में स्पैरो सॉफ्टेक प्राइवेट लिमिटेड झारखंड के बीस नगर निकायों में दो क्लस्टर राजस्व संग्रहण एजेंसी के तौर पर कार्यरत है. इसके साथ ही राजस्व संग्रहण के लिए MIS Database और ऑनलाइन संग्रहण प्रणाली की देखरेख भी राज्य के सभी 51 नगर निकायों में स्पैरो सॉफ्टेक प्राइवेट लिमिटेड के जिम्मे ही है. रांची को छोड़ बीस नगर निकायों में सुडा के माध्यम से निविदा प्रक्रिया में चयनित होने के बाद ये कंपनी टैक्स कलेक्शन का कार्य कर रही हैं.
इसे भी पढ़ें-कोरोना काल में झारखंड से देश में क्रिकेट का आगाज संभव, 10 सितंबर से टी-20 टूर्नामेंट के आयोजन को मंजूरी
अभिकरण की ओर जो कुल 16 बिंदुओं पर आपत्ति जतायी गयी, इसमें कुछ ऐसे बिंदु हैं
1. गिरिडीह नगर निगम के लॉगिन आईडी पर अपलोडेड कागजात गायब हैं. इस संबंध में जुलाई 2019 में एजेंसी के प्रतिनिधि नें इस त्रुटि के समाधान के लिए निकाय का भ्रमण भी किया था. लेकिन पर अब तक सुधार नहीं हुआ है.
2. कई निकायों में टैक्स कलेक्टर आईडी में एक हीं फ्लोर बार-बार रिपीट होने के कारण मांग में अनावश्यक वृद्धि हो रही है, जिसके कारण धृतस्वामियों ने भुगतान को लंबित रख लिया है.
3. कई निकायों के अनेकों होल्डिंग धारकों का वर्तमान वित्तीय वर्ष 2020-21 की मांग, नो ड्यूज अंकित हो रहा है, जबकि वास्तव में उन्होंने भुगतान नहीं किया है, इस समस्या के कारण धृतस्वामी परेशान हैं और निकाय को राजस्व की हानि हो रही है.
4. राज्य के नगर निकाय परिसर में अवस्थित जन सुविधा केंद्र का जियो फेंसिंग को बिना अनुमति के एजेंसी से हटा दिया गया है, जिसके कारण नगर निकाय के राजस्व के दुरुपयोग की पूरी संभावना है.
5.सुडा पोर्टल से प्रोपर्टी रिपोर्ट अंतर्गत एरियर और करेंट कलेक्शन रिपोर्ट के जांच के क्रम में पाया गया है कि दर्शाए गए टोटल कलेक्शन डाटा मिसमैच है.
6. बगैर सूचना और अनुमति के स्टेट डाटा सेंटर का एंटीवायरस एजेंसी से निष्क्रिय किया गया, जो नियम के तहत अपराध की श्रेणी में आता है.
7. बगैर सूचना और जानकारी एजेंसी के प्रतिनिधियों से स्टेट डाटा सेंटर सर्वर की तस्वीर ली गयी. ये घटना अपराध की श्रेणी में आती है और इस पर संतोषप्रद जवाब पूर्व के शो कॉज के विरुद्ध नहीं दिया गया.