रांची:कोल कारोबारी, ट्रांसपोर्टर और आउटसोर्सिंग कंपनियों से रंगदारी वसूलने वालों के खिलाफ एनआईए की जांच तेज हो गई है. एनआईए अब जेल में बंद गैंगस्टर सुजीत और अमन साव से पूछताछ करने की तैयारी में है.
जेल में बंद गैंगस्टर सुजीत और अमन से पूछताछ करेगी NIA, खुलेंगे कई राज - जेल में बंद गैंगस्टर सुजीत और अमन से पूछताछ करेगी एनआईए
रांची में कोल कारोबारी, ट्रांसपोर्टर और आउटसोर्सिंग कंपनियों से रंगदारी वसूलने वालों के खिलाफ एनआईए की जांच तेज हो गई है. इस मामले में गैंगस्टर सुजीत सिन्हा, अमन साव, सुजीत सिन्हा के गैंग के सदस्य और पीएलएफआई उग्रवादी प्रदीप गंझू से पूछताछ करेगी.
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डीएसपी विपिन कुमार को मिली जांच की जिम्मेदारी
एनआईए इस मामले में जमशेदपुर के घाघीडीह जेल में उग्रकैद की सजा काट रहे गैंगस्टर सुजीत सिन्हा, रांची जेल में बंद अमन साव, सुजीत सिन्हा के गैंग के सदस्य और पीएलएफआई उग्रवादी प्रदीप गंझू से पूछताछ करेगी. इस मामले में एनआईए ने सकेंद्र गंझू, बिहारी गंझू, प्रमोद गंझू, संतोष गंझू समेत अन्य को आरोपी बनाया है. मामले में एनआईए के डीएसपी विपिन कुमार को जांच की जिम्मेदारी सौंपी गई है. एनआईए कांड में आरोपी बनाए गए अपराधियों को रिमांड पर लेगी.
क्या है घटनाक्रम
19 दिसंबर 2020 को लातेहार के बालूमाथ के तेतरियाखाड़ कोलियरी में आपराधिक गिरोह के सदस्यों ने चार ट्रक और मोटरसाइकिल में आग लगा दी थी. फायरिंग में कंपनी के चार लोगों को गोली भी लगी थी. जांच में यह बात सामने आयी थी कि सुजीत सिन्हा और अमन साव ने पूरे मामले की साजिश रची थी. साजिश को अंजाम देने में प्रदीप गंझू और उसके सहयोगी संतोष गंझू, बिहारी गंझू, सकेंद्र गंझू, प्रमोद गंझू और अन्य की भूमिका थी. जांच में सरकारी काम रोकने और रंगदारी के लिए वारदात को अंजाम देने की बात सामने आयी थी.
गृह मंत्रालय के आदेश पर जांच कर रही एनआईए
भारत सरकार के गृह मंत्रालय के आदेश पर एनआईए की टीम पूरे मामले की जांच कर रही है. एनआईए को 3 मार्च 2021 को मंत्रालय से जांच का आदेश मिला था, जिसके बाद एनआईए ने केस टेकओवर कर जांच शुरू कर दी है.