रांचीःनगर निगम क्षेत्र के तहत लगाए जाने वाले व्यावसायिक होर्डिंग्स से निगम के राजस्व में लगभग 4 करोड़ रुपये का योगदान मिलता है, जो रांची नगर निगम के लिए आय का एक बड़ा स्रोत है, लेकिन अव्यवस्थित होर्डिंग्स की वजह से कई समस्याएं भी आ रही हैं और आय में बढ़ोतरी भी नहीं हो पा रही है. इसके साथ ही अवैध होर्डिंग्स भी नगर निगम के आय में नुकसान पहुंचा रहे हैं.
नगर निगम क्षेत्र में लगभग 900 होर्डिंग्स
रांची नगर निगम क्षेत्र में लगभग 900 होर्डिंग्स लगे हुए हैं. जिससे रांची नगर निगम को राजस्व की प्राप्ति होती है. इससे लगभग 3 करोड़ 90 लाख रुपये का नगर निगम को आय प्राप्त होता है. वर्तमान में रांची नगर निगम में 42 एड एजेंसी रजिस्टर्ड हैं, जिनके माध्यम से होर्डिंग शहर में लगाए गए हैं, लेकिन अवैध होर्डिंग्स भी नगर निगम के आय को नुकसान पहुंचाने का काम करती आई है. हालांकि नगर निगम की ओर से पिछले कुछ महीनों में अवैध होर्डिंग हटाने के लिए चलाए गए ड्राइव में 140 अवैध होर्डिंग्स हटाए गए हैं, लेकिन फिर भी अवैध होर्डिंग लगाया जाते रहते हैं. इसे ध्यान में रखते हुए नगर निगम की टीम की ओर से समय-समय पर ड्राइव चलाया जाता है, ताकि अवैध होर्डिंग्स से हो रहे नुकसान पर काबू किया जा सके.
गाड़ी चला रहे लोगों को भी परेशानी
मेयर आशा लकड़ा ने बताया कि फिलहाल नए होर्डिंग नहीं लगाए गए हैं, लेकिन शहर के चौक चौराहों पर बड़े-बड़े होर्डिंग्स लगे हुए हैं. उसे एकरूपता लाने की बात बोर्ड की बैठक में हुई है. बड़े होर्डिंग्स की वजह से गाड़ी चला रहे लोगों को भी परेशानी होती है. ऐसे में पूर्व मुख्यमंत्री रघुवर दास के शासनकाल में सड़क सुरक्षा विभाग के माध्यम से स्टीयरिंग कमेटी भी बनाई गई थी और बैठक की गई थी. उस दौरान कड़ी कार्रवाई करने की बात भी हुई थी. कई होर्डिंग्स को हटाने पर सहमति बनी थी, लेकिन उसके बाद आज तक कोई भी राज्यस्तरीय बैठक नहीं हुई है, लेकिन रांची नगर निगम अपने स्तर से बैठक कर इसे ठीक करने का प्रयास कर रहा है, ताकि राजस्व बढ़ सके.
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रांची नगर निगम राजस्व के संग्रह में काफी पिछड़ गया
हालांकि डिप्टी मेयर संजीव विजयवर्गीय का साफ कहना है कि होर्डिंग्स के माध्यम से रांची नगर निगम राजस्व के संग्रह में काफी पिछड़ गया है. प्रत्येक वर्ष इसका एग्रीमेंट करना पड़ता है, जिसकी प्रक्रिया रुकी हुई है. इसको लेकर नगर आयुक्त को बोर्ड की बैठक में स्पष्ट कहा गया है कि शहर को व्यवस्थित ढंग से सजाने की जरूरत है. अव्यवस्थित होर्डिंग्स को हटाकर व्यवस्थित होर्डिंग्स लगाने से रेवेन्यू मॉडल तैयार किया जा सकता है और उस मॉडल में जो रेवेन्यू लगभग 4 करोड़ रुपये का है, उसे बढ़ाया भी जा सकेगा और शहर को सुंदर भी बनाया जा सकेगा.
नगर निगम बोर्ड की बैठक
वहीं बाजार शाखा के तहत होर्डिंग्स के माध्यम से रेवेन्यू कलेक्शन लगातार जारी है. उप नगर आयुक्त कुंवर सिंह पाहन ने बताया कि नगर निगम बोर्ड की बैठक में तय किया गया था कि शहर में स्मार्ट होर्डिंग की व्यवस्था की जाएगी. ऐसे में आने वाले बोर्ड की बैठक में स्मार्ट होर्डिंग को लेकर निर्णय लिए जाएंगे, जिसके बाद टेंडर निकालने की प्रक्रिया की जा सकती है। उन्होंने कहा कि होर्डिंग्स के माध्यम से पहले से जो रेवेन्यू कलेक्शन होता था, वह अभी भी जारी है. उन्होंने स्मार्ट होर्डिंग होने से रेवेन्यू बढ़ोतरी की भी उम्मीद जताई है.