रांची: सीएम आवास से ईडी ऑफिस पहुंची चिट्ठी (Letter to ED office Ranchi), समन पर हाजिर होने के लिए मांगा 3 सप्ताह का समय. ईडी के समन पर हाजिर होने के लिए मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की तरफ से समय की मांग की गई है (CM Hemant Soren Sought Time to appear on Summon). सीएम हाउस से JH O1CA 3517 गाड़ी से प्रमोद कुमार नाम के व्यक्ति ईडी दफ्तर पहुंचे. उन्होंने खुद को मुख्यमंत्री आवास का कर्मचारी बताया. लेकिन वह यह बात नहीं बता पाए कि चिट्ठी में क्या लिखा हुआ है.
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सूत्रों से मिल रही जानकारी के मुताबिक मुख्यमंत्री की तरफ से ईडी ऑफिस आने के लिए 3 सप्ताह का समय मांगा गया है. आपको बता दें कि खनन घोटाला मामले में 1 नवंबर को ईडी की तरफ से मुख्यमंत्री को समन जारी किया गया था. उन्हें 3 नवंबर को ईडी ऑफिस आने को कहा गया था. लेकिन अपने व्यस्त कार्यक्रम की वजह से मुख्यमंत्री नहीं पहुंचे. हालांकि इस दौरान मुख्यमंत्री अपने आवास के बाहर कार्यकर्ताओं से आह्वान करते दिखे की वह हर परिस्थिति से लड़ने के लिए तैयार हैं.
इससे पहले गुरुवार को मुख्यमंत्री आवास का मेन गेट राजनीति का मंच बन गया. वहां भारी संख्या में पहुंचे झामुमो के कार्यकर्ताओं को मुख्यमंत्री ने संबोधित करते हुए एक तीर से कई निशाने साधे. मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने ईडी को सीधी चुनौती देते हुए कहा है कि समन नहीं, हिम्मत है तो गिरफ्तार करके दिखाओ. उन्होंने कहा कि एक तरफ केंद्रीय एजेंसियां कोयला और लोहा ढो रही हैं और दूसरी तरफ हमारे ऊपर भ्रष्टाचार का आरोप लगाया जा रहा है. कार्यकर्ताओं को परेशान किया जा रहा है.
मुख्यमंत्री ने कहा कि चारों चुनाव में भाजपा को मुंह की खानी पड़ी है. आने वाले समय में इनको झंडा धोने वाला भी नहीं मिलेगा. सीएम ने कहा कि आज मुझे छत्तीसगढ़ में आदिवासी महोत्सव में मुख्य अतिथि के रुप में बुलाया गया है और दूसरी तरफ ईडी ने आज हाजिरी लगाने को कह दिया. अजीब हालत है. अगर गुनाह किया है तो पूछताछ क्यों करते हो? सीधे गिरफ्तार करके दिखाओ. किसकी हत्या की है कौन सा गुनाह किया है.
क्यों ईडी और भाजपा ऑफिस की सुरक्षा बढ़ा दी गई है. क्या झारखंडियों से डर लगता है. अभी तो कुछ किया ही नहीं है. अगर करने पर उतारू हो जाएं तो वह दिन दूर नहीं जब सिर छुपाने को भी जगह नहीं मिलेगी. मुख्यमंत्री ने कहा कि इनको राजनीतिक रूप से ऐसे जवाब देना है कि दोबारा सिर उठाने की हिम्मत ना कर पाएं. जब केंद्र से अपने हिस्से का पैसा मांगते हैं तो यह लोग सीबीआई और ईडी की धमकी देते हैं. गरीबों को प्रधानमंत्री आवास मुहैया कराना है लेकिन उसकी स्वीकृति केंद्र सरकार नहीं दे रही है. जीएसटी लगाकर देश को पंगु बना दिया और उनके साथी अरबों खरबों लूटकर ले जा रहे हैं उनको पूछने वाला कोई नहीं.