रांची: रूसी हमले के बाद यूक्रेन में फंसे लोगों को भारत लाने की कवायद जारी है. यूक्रेन में झारखंड के भी दर्जनों छात्र और अन्य कामगार फंसे हुए हैं. सभी झारखंडियों की कुशल वापसी के लिए मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन खुद विदेश मंत्रालय के संपर्क में है.
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उन्होंने यूक्रेन में फंसे झारखंड के लोगों (People of Jharkhand in Ukraine) के लिए एक बड़ी घोषणा की है. मुख्यमंत्री ने कहा है कि अगर झारखंड के लोगों को यूक्रेन से वापस लौटने के लिए जेब से पैसे खर्च कर टिकट खरीदने पड़ेंगे तो वापस लौटने पर टिकट के पैसे सरकार लौटाएगी. मुख्यमंत्री की तरफ से इस बाबत ट्वीट किए जाने के बाद बड़ी संख्या में लोग अपने परिजनों का डिटेल साझा कर रहे हैं.
इससे पहले कल मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की पहल पर नियंत्रण कक्ष स्थापित कर फोन नंबर और व्हाट्सएप नंबर जारी किया गया है. सरकार की ओर से अपील की गई है कि झारखंड में रहने वाले लोगों के परिजन अगर यूक्रेन में फंसे हैं तो वह इन नंबरों पर इसकी सूचना दे सकते हैं, ताकि उन तक मदद पहुंचाई जा सके. मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने पीड़ित परिवारों को भरोसा दिलाया है कि उनकी सरकार, केंद्र सरकार के संपर्क में है और सभी के कुशल घर वापसी का प्रयास कर रही है.
झारखंड के 150 छात्र व 300 प्रोफेशनल फंसे
झारखंड के 150 से ज्यादा छात्र (Jharkhand Students in Ukraine) और 300 से ज्यादा कामकाजी लोग यूक्रेन में हैं. झारखंड सरकार इस मामले पर लगातार नजर रखे हुए है. झारखंड के ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम ने विधानसभा में कहा कि हम झारखंड के उन सभी निवासियों को वापस लाएंगे, जो यूक्रेन में हैं.