रांची:फूड सेफ्टी ऑफिसर नियुक्ति (Food Safety Officer Recruitment) मामले में दायर याचिका पर झारखंड हाई कर्ट (Jharkhand High Court) में सुनवाई हुई. अदालत में सुनवाई के दौरान प्रार्थी की ओर से बताया कि, विज्ञापन में शैक्षणिक योग्यता जिस विषय में स्नातक बी.ए मांगा गया है, हम उस विषय में स्नातकोत्तर एम.ए किए हैं. आयुक्त की ओर से बताया गया, कि जबकी बी.ए 3 वर्ष का होता है और एम.ए 2 वर्ष की होती है, इसलिए चयन नहीं किया गया. अदालत ने दोनों पक्षों को सुनने के बाद मामले में यूजीसी को नोटिस जारी कर इस पर अपना स्थिति स्पष्ट करते हुए 2 सप्ताह में जवाब पेश करने का निर्देश दिया है.
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झारखंड हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश डॉ रवि रंजन और न्यायाधीश सुजीत नारायण प्रसाद की अदालत में फूड सेफ्टी ऑफिसर नियुक्ति मामले में दायर याचिका पर सुनवाई हुई. न्यायाधीश ने अपने आवासीय कार्यालय से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से मामले की सुनवाई की. वहीं याचिकाकर्ता के अधिवक्ता और सरकार के अधिवक्ता ने अपने- अपने आवास से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से अपना पक्ष रखा. मामले की सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता के अधिवक्ता ने अदालत को बताया, कि विज्ञापन में जो शैक्षणिक अहरता रखी गई है, उस विषय में स्नातक की डिग्री मांगी गई थी, जबकि याचिकाकर्ता को स्नातकोत्तर की डिग्री प्राप्त है, कहने का मतलब है, कि शैक्षणिक योग्यता में बी.ए मांगा गया था और मैं पास हूं, लेकिन मेरा चयन नहीं किया गया.
2 अगस्त को होगी मामले की अगली सुनवाई