रांचीः गैंगस्टर सुशील श्रीवास्तव के बेटे अमन श्रीवास्तव पर एटीएस ने शिकंजा कसना शुरू कर दिया है. गैंगस्टर अमन श्रीवास्तव के गिरोह के पंद्रह सदस्यों के खिलाफ एटीएस थाने में यूएपीए एक्ट के तहत केस दर्ज किया गया है. इधर अमन श्रीवास्तव के भाई अभिक श्रीवास्तव, बहनोई चंद्रप्रकाश रानू को पूछताछ के बाद एटीएस ने अधिकारिक तौर पर गिरफ्तार कर लिया है. गिरफ्तारी के बाद सभी आरोपियों को ट्रांजिट रिमांड के लिए स्थानीय अदालत में पेश किया गया. सभी गिरफ्तार आरोपियों को अब रांची लाया जाएगा.
हवाला से जुड़े गैंगस्टर अमन श्रीवास्तव के तार, भाई और बहनोई गिरफ्तार, लाए जा रहे रांची
गैंगस्टर सुशील श्रीवास्तव के बेटे अमन श्रीवास्तव के तार हवाला कारोबार से जुड़े हैं. इस मामले में उसके भाई और बहनोई को गिरफ्तार कर लिया गया है. आरोपियों को ट्रांजिट रिमांड पर रांची लाया जाएगा. आंध्रप्रदेश में काकीनाड़ा से गिरफ्तार फिरोज खान उर्फ साना खान को भी रांची लाया जा रहा है.
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हवाला के जरिए परिजनों के खाते में पैसे ट्रांसफरः झारखंड एटीएस की शुरुआती जांच में सामने आया है कि हवाला के जरिए अमन श्रीवास्वत ने रंगदारी के पैसे भाई अभिक, बहन मंजरी श्रीवास्तव और बहनोई चंद्रप्रकाश राणू के खाते में ट्रांसफर किए थे. वहीं आंध्रप्रदेश के काकीनाड़ा से गिरफ्तार फिरोज खान उर्फ साना खान को रांची लाया जा रहा है. फिरोज को रांची लाए जाने के बाद लातेहार के रंगदारी के केस में जेल भेजा जाएगा. इस मामले में सिद्धार्थ साहू व संजय कर्माकर की गिरफ्तारी भी एटीएस ने की थी. संजय के खिलाफ अलग से डोरंडा थाने में एटीएस ने आर्म्स एक्ट के तहत केस दर्ज कराया है. गौरतलब है कि छापेमारी में एटीएस को तकरीबन 34 लाख नकदी मिली थी. बरामद राशि के संबंध में आयकर विभाग को भी पुलिस ने जानकारी दी है.
किस-किस के खिलाफ एफआईआर दर्जःअमन श्रीवास्तव के साथ साथ पुलिस ने पूरे मामले में अभिक, मंजरी, चंद्रप्रकाश राणू, चतरा के जोरी निवासी विनोद कुमार पांडेय, सिद्धार्थ साहू,अमन श्रीवास्तव के चचेरे भाई, बॉडीगार्ड संजय कर्माकार समेत 15 लोगों के खिलाफ यूएपीए की संगत धाराओं में केस दर्ज कराया है.
पिता की हत्या के बाद अपराध की दुनिया में उतर गया था अमनःअमन श्रीवास्तव के पिता सुशील श्रीवास्तव की हत्या हजारीबाग कोर्ट में प्रतिद्वंद्वी भोला पांडेय गिरोह द्वारा कर दी गई थी. पिता के हत्या के बाद गिरोह की कमान अमन श्रीवास्तव ने संभाल ली थी. पिता की हत्या के पूर्व अमन श्रीवास्तव बेंगलुरू में ही रह कर उच्चशिक्षा ले रहा था. हालांकि बाद में वह पूरी तरह अपराध की दुनिया में उतर गया. अमन श्रीवास्वत का गिरोह रांची के कोयला क्षेत्र, चतरा, लातेहार, रामगढ़, हजारीबाग, लातेहार समेत कई जिलों में सक्रिय है.