रांची:साहिबगंज में 1000 करोड़ के अवैध खनन के मामले में मुख्य गवाह विजय हांसदा को प्रभावित करने के मामले में साहिबगंज एसपी नौशाद आलम से ईडी ने मंगलवार को लंबी पूछताछ की. यह पूछताछ देर रात तक चली. जानकारी के अनुसार ईडी के अधिकांश सवालों का नौशाद आलम के द्वारा गोल मटोल जवाब दिया गया. एजेंसी के अफसरों के मुताबिक, विजय हांसदा की दिल्ली के सफर के लिए टिकट बुक कराने के पहलू पर सवाल पूछा गया, इस सवाल के जवाब में उन्होंने बताया है कि विजय हांसदा को सुरक्षा कारणों से बॉडीगार्ड उपलब्ध कराया गया था.
बॉडीगार्ड के बाहर जाने की परमिशन डीआईजी के जरिए मिल गई थी, इसके बाद उनके रेल पास भी हो गए थे, तब बॉडीगार्ड्स के ही कहने पर उन्होंने टिकट रांची के कनीय पुलिस अधिकारी से कराया था. हालांकि ईडी के अधिकारी उनके जवाब से संतुष्ट नहीं हुए. इस मामले में ईडी के क्रॉस सवालों का जवाब भी नौशाद आलम ने सही से नहीं दिया.
कौन है पर्दे के पीछे जानना चाहती है ईडी:दरअसल एजेंसी यह जानना चाहती है कि आखिरकार नौशाद आलम किस पॉलिटिशियन या फिर किस सरकारी अधिकारी के कहने पर विजय हांसदा को सुविधाएं प्रदान करायी गई, पर्दे के पीछे वे कौन लोग है जिनके कहने पर गवाह को प्रभावित करने की कोशिश की गई. मंगलवार को ऐसे सभी सवाल नौशाद आलम से किए गए, लेकिन उन्होंने इन मामलों से जुड़े किसी भी सवाल का जबाब ईडी को नहीं दिया.
संपत्ति का विवरण भी मांगा गया:ईडी ने नौशाद आलम को लेकर विस्तृत जानकारियां पहले से जुटा रही थी. नौशाद आलम की पोस्टिंग कहां कहां रही और उनके द्वारा किस तरह की संपत्ति की खरीद की गई इसकी जानकारी भी पूर्व में ईडी जुटा चुकी है. मंगलवार को नौशाद आलम के एजेंसी में आते ही, उनकी संपत्ति से जुड़ी जानकारी मांगी गई. अब नौशाद आलम को हलफनामा के जरिए उन्हें यह जानकारी एजेंसी को उपलब्ध करानी है. नौशाद आलम पर आरोप है कि साहिबगंज में बतौर एसपी पोस्टिंग किए जाने के बाद उन्होंने विजय हांसदा को प्रभावित किया, इसके बाद वह होस्टाइल हो गए.
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