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बच्चों के मेंटल हेल्थ को लेकर शिक्षा मंत्री से मिला एक प्रतिनिधिमंडल, स्कूल में स्वास्थ्य कैंप लगाने की मांग - रांची की खबर

झारखंड के स्कूली बच्चों में मानसिक तनाव कम करने को लेकर महिला आयोग की पूर्व अध्यक्ष महुआ मांझी के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल ने शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो से मुलाकात की है. प्रतिनिधिमंडल के हेल्थ चेकअप कैंप लगाने के प्रस्ताव पर शिक्षा मंत्री ने विचार करने का आश्वासन दिया.

mental health of children in jharkhand
मेंटल हेल्थ कैंप

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Published : May 25, 2022, 2:33 PM IST

Updated : May 25, 2022, 3:49 PM IST

रांची: महिला आयोग की पूर्व अध्यक्ष महुआ मांझी के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल ने शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो से मुलाकात की है. प्रतिनिधिमंडल के द्वारा बच्चों में मानसिक तनाव कम करने को लेकर स्कूलों में मेंटल हेल्थ चेकअप कैंप लगाने का प्रस्ताव दिया गया. शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो को प्रतिनिधिमंडल को अधिकारियों से बातचीत के बाद प्रस्ताव पर काम करने का आश्वासन दिया.

मानसिक तनाव से ग्रस्त हैं बच्चे: हमेशा देखा जाता है कि स्कूल कॉलेजों में पढ़ने वाले बच्चे मानसिक तनाव और अवसाद से गुजरते हैं. परीक्षा और उसके रिजल्ट के दौरान आत्महत्या की संख्या भी बढ़ जाती है. वहीं कोरोना महामारी के बाद तो बच्चों में कई मानसिक बीमारियां घर कर गई है. स्कूली बच्चों के अलावे कॉलेज गोइंग बच्चे भी अब मानसिक परेशानी से जूझ रहे हैं .कई मानसिक बीमारियों से ऐसे बच्चे पीड़ित भी हो रहे हैं. इसी कड़ी में तमाम स्कूल और कॉलेजों में नियमित रूप से मेंटल हेल्थ चेकअप के लिए चिकित्सकों ने एक प्रस्ताव तैयार किया है और उस प्रस्ताव को महिला आयोग की पूर्व अध्यक्ष महुआ मांझी के नेतृत्व में शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो को सौंपा गया है.

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क्या है प्रस्ताव में: प्रस्ताव में कहा गया है कि नियमित रूप से स्कूल कॉलेजों में मेंटल हेल्थ चेकअप कैंप लगाया जाए बच्चों का काउंसलिंग स्कूल कॉलेजों में ही की जाए. बच्चे किन परेशानियों से गुजर रहे हैं .इसे सुनने और जानने वाला कोई होना चाहिए और इसे लेकर सरकारी स्तर पर शिक्षकों और चिकित्सकों की एक टीम भी तैयार की जाए.

जगरनाथ महतो का आश्वासन: इस मौके पर प्रतिनिधिमंडल को शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो ने आश्वासन दिया है. उन्होंने कहा है कि शिक्षा विभाग के अधिकारियों के साथ इस प्रस्ताव को लेकर चर्चा की जाएगी. चर्चा के बाद जो निर्णय आएंगे उस पर अमल किया जाएगा. यह सही है की कोरोना काल के बाद स्कूली बच्चे मानसिक तौर पर बीमार पड़ रहे हैं. सैकड़ों बच्चे डिप्रेशन का शिकार भी हो रहे हैं. इस दिशा में शिक्षा विभाग गंभीर है और इस प्रस्ताव पर गौर किया जाएगा.

Last Updated : May 25, 2022, 3:49 PM IST

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