रांची: जगरनाथ महतो के निधन से खाली हुई डुमरी विधानसभा सीट से झामुमो प्रत्याशी के रूप में मंत्री बेबी देवी की जीत हुई है. वहीं आजसू प्रत्याशी यशोदा देवी की हार हुई है.
उपचुनाव में कुल पड़े मतों का 51 प्रतिशत से अधिक मत पाकर झामुमो उम्मीदवार बेबी देवी जीत दर्ज की है. उनकी जीत के बाद उत्साहित सत्ताधारी दलों के निशाने पर सुदेश महतो की जगह बाबूलाल मरांडी पर आ गए हैं.
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झारखंड मुक्ति मोर्चा, कांग्रेस और राजद के साथ साथ I.N.D.I.A दलों के नेता बाबूलाल मरांडी को हार के लिए जिम्मेदार बता रहे हैं. कोई बाबूलाल मरांडी के भाजपा का प्रदेश अध्यक्ष बनाने को ही एनडीए के लिए झारखंड में अशुभ बता रहे हैं तो कोई उन्हें फूंका हुआ कारतूस करार दे रहे हैं. डुमरी विधानसभा उपचुनाव के नतीजे एनडीए के पक्ष में नहीं आने पर बाबूलाल मरांडी पहले ही कह चुके हैं कि उनका गठबंधन एनडीए एक चुनाव हारा है मैदान नहीं. ऐसे में भाजपा के विधायक कोचे मुंडा कहते हैं कि राज्य के सत्ताधारी दलों को डर बाबूलाल से ही लगता है क्योंकि वह बाबू भी हैं और लाल भी, उनके जैसा ईमानदार और स्वच्छ छवि का नेता नहीं है. इसलिए सत्ताधारी दल के नेता बाबूलाल मरांडी को निशाना बनाते रहते हैं.
फूंका हुआ कारतूस हैं बाबूलाल- बंधु तिर्कीः राज्य के पूर्व मंत्री और प्रदेश कांग्रेस कार्यकारी अध्यक्ष बंधु तिर्की ने कहा कि वह पहले से कहते आए हैं कि बाबूलाल मरांडी फूंका हुआ कारतूस हैं. आदिवासी नेता होते हुए भी उन्होंने अपनी विश्वसनीयता खो दी है. 14 साल झारखंड विकास मोर्चा के रूप में उन्होंने जो जो आरोप भाजपा पर लगाये हैं सब सोशल मीडिया पर है. ऐसे में जनता उनपर भरोसा कैसे करें?