रामगढ़: रामगढ़ विधानसभा उपचुनाव में जिला प्रशासन के द्वारा चुनाव के दौरान जिले के लगभग सभी थानों में विवादित लोगों, राजनैतिक लोगों द्वारा हिंसा फैलाने की आशंका को देखते हुए सैकड़ों लोगों पर 107 के तहत कार्रवाई की है. रजरप्पा थाना क्षेत्र के सुकरीगढ़ा में भी लगभग 22 लोगों को 107 के तहत अनुमंडल न्यायालय में हाजिरी लगाने के लिए नोटिस भेजा गया है. नोटिस मिलने से ग्रामीण नाराज हैं. ग्रामीणों ने इसकी शिकायत रजरप्पा थाना प्रभारी से की है. साथ ही कहा है कि अगर इस नोटिस को वापस नहीं लिया गया तो ग्रामीण आगामी उपचुनाव में सामूहिक रूप से वोट का बहिष्कार करेंगे.
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रजरप्पा के सुकरीगढ़ा इलाके में 22 लोगों को भेजा गया है नोटिसः दरअसल, रजरप्पा थाना क्षेत्र के सुकरीगढ़ा में भी लगभग 22 लोगों को 107 के तहत अनुमंडल न्यायालय में हाजिरी लगाने के लिए नोटिस भेजा गया है. नोटिस मिलने के बाद ग्रामीण नाराज हैं. ग्रामीणों ने इसकी शिकायत रजरप्पा थाना प्रभारी से की है. साथ ही कहा है कि अगर इस नोटिस को वापस नहीं लिया गया, तो ग्रामीण आगामी उपचुनाव में समूहिक वोट का बहिष्कार करेंगे.
ग्रामीणों के अनुसार गांव के बुजुर्गों और बच्चों के नाम भी भेजा गया है नोटिसः रामगढ़ उपचुनाव में वोट का बहिष्कार का निर्णय लिया है. ग्रामीणों का कहना है कि चुनाव में शांति व्यवस्था बनाये रखने के लिए थाने से जो 107 कि कार्रवाई की जाती है उसमें पढ़नेवाले बच्चों और बुजुर्गों का भी नाम दे दिया गया है. इससे बेकसूर लोगों के चरित्र का हनन हो रहा है. लोगों ने शनिवार को थाना प्रभारी से इसकी शिकायत की और मामले पर संज्ञान लेने की मांग की है. ग्रामीणों ने कहा कि अगर यह नोटिस वापस नहीं लिया जाता है, तो हमलोग उपचुनाव में सामूहिक रूप से वोट का बहिष्कार करेंगे.
ग्रामीणों ने सामूहिक रूप से वोट बहिष्कार की दी चेतावनीः वहीं मामले में गांव के समाजसेवी अयोध्या प्रसाद वर्मा ने कहा कि अगर चुनाव के लिए 107 के तहत कार्रवाई की गई है तो हमलोग चुनाव में वोट का बहिष्कार करेंगे. क्योंकि बार-बार इस तरह का नोटिस मिलना कहीं न कहीं गांव के किसी व्यक्ति द्वारा षड्यंत्र है
थाना प्रभारी ने कहा कि नोटिस से नहीं होगा चरित्र हननःवहीं इस संबंध में थाना प्रभारी हरिनंदन प्रसाद ने बताया कि 107 के नोटिस शांति व्यवस्था भंग करने वालों को दी जाती है. इसी कड़ी में पुलिस पदाधिकारी द्वारा जांच कर इस तरह की कार्रवाई की गई है. किसी को डरने की जरूरत नहीं है. इससे किसी तरह का चरित्र हनन नहीं होता है.