रामगढ़ः देश के प्रसिद्ध सिद्धपीठ रजरप्पा स्थित मां छिन्नमस्तिका मंदिर में महानवमी के अवसर पर श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ी है. मां की विशेष पूजा रात 2 बजे से की गई. जिसके बाद माता का दर्शन पूजन आम श्रद्धालुओं को होने लगा. देर रात से ही भक्त मंदिर प्रांगण पहुंचने शुरू हो गए थे और ब्रह्म मुहूर्त तक लगभग 2 किलोमीटर की लाइन लगी हुई थी. भक्तों का आना जारी है. नवरात्रि को लेकर पश्चिम बंगाल, बिहार, उत्तर प्रदेश, ओडिशा सहित कई राज्यों से श्रद्धालु यहां पहुंच रहे हैं.
Navratri 2023: महानवमी के अवसर पर मां छिन्नमस्तिका मंदिर में उमड़ी श्रद्धालुओं की भीड़, हवन, पूजन और मंत्रोच्चार से गूंज रहा वातावरण - महानवमी के अवसर पर मां छिन्नमस्तिका मंदिर में भीड़
शारदीय नवरात्रि के अवसर पर रजरप्पा स्थित मां छिन्नमस्तिका मंदिर में श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ रही है. अहले सुबह से ही भक्त कतार में लगकर मां दुर्गा की पूजा कर रहे हैं.
Published : Oct 23, 2023, 9:29 AM IST
|Updated : Oct 23, 2023, 9:54 AM IST
रामगढ़ के रजरप्पा में महानवमी के दिन सिद्धिदात्री मां की पूजा की जा रही है. पूजा ब्रह्ममुहूर्त के समय से ही की जा रही है. माता छिन्नमस्तिका के दर्शन के लिए भक्तों की लंबी कतार लगी हुई है. यहां बलि देने की भी प्रथा है. बलि के रूप में जीव बलि या फिर फल बलि देने की प्रथा है. महानवमी के अवसर पर श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ी हुई है. अहले सुबह 4 बजे तक लगभग 2 किलोमीटर लंबी लाइन लग चुकी थी. भक्त लाइन में लग मां के दर्शन कर रहे हैं. भक्तों की भीड़ को देखते हुए रात दो बजे से ही मां का पट भक्तों के दर्शन के लिए खोल दिये गये हैं.
यहां के पुजारी विक्रम पंडा ने कहा कि महानवमी में सिद्धपीठ में पूजा-अर्चना का खास महत्त्व है. रात 12 बजे से माता के भक्त आ गए थे और विशेष वार्षिक पूजा के बाद भक्तों के दर्शन पूजन के लिए पट खोल दिया गया है. लगातार भक्त आ रहे है और माता की आराधना कर रहे है. श्रद्धालुओं की भीड़ को देखते हुए रामगढ़ जिला प्रशासन ने भी सुरक्षा के पुख्ता इंतेजाम किए हैं. दंडाधिकारी के साथ भारी संख्या में पुलिस बल के जवान व अफसरों को तैनात किया गया है. साथ ही सीसीटीवी कैमरे से भी निगरानी की जा रही है.
आपको बता दें कि नवरात्रि के दौरान देश के कई राज्यों के साधक मां भगवती के दरबार में पहुंचते हैं. 8 दिनों तक मां दुर्गा के विभिन्न रूपों का पूजन करने के बाद यहां महानवमी की पूर्णाहुति दी जाती है. विभिन्न हवन कुंडों में श्रद्धालुओं, साधकों द्वारा हवन, पूजन व यज्ञ किया जा रहा है. पूरा मंदिर प्रक्षेत्र मंत्रोच्चारण से गुंजायमान हो रहा है. इस बार मंदिर के इतिहास में पहली बार नवरात्रि में रोजाना शाम में गंगा आरती की जा रही है.