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Palamu Naxalite News: टॉप नक्सली कमांडर राजेश ठाकुर ने माओवादियों के बारे में किए कई बड़े खुलासे, देखिए ईटीवी भारत के साथ एक्सक्लूसिव बातचीत

माओवादी राजेश ठाकुर ने कहा कि नक्सली संगठन पहले की तुलना में कमजोर हो गया है. बहुत सारे साथी उसके जैसे ही आत्मसमर्पण कर सामान्य जीवन में लौटना चाहते हैं.

ETV Bharat Exlusive Talk with Rajesh Thakur
टॉप नक्सली राजेश ठाकुर से एक्सक्लूसिव बातचीत

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Published : Apr 19, 2023, 6:20 PM IST

टॉप नक्सली कमांडर राजेश ठाकुर से एक्सक्लूसिव बातचीत

पलामू: झारखंड और बिहार में माओवादियों के पास लीडरशिप खत्म हो गई है. बची हुई लीडरशिप लेवी वसूलने में लगी हुई. यह कहना है टॉप माओवादी कमांडर राजेश ठाकुर का. माओवादी राजेश ने कहा है कि टॉप माओवादी संदीप यादव के बाद संगठन बिखर गया है. बचे हुए लोग आत्मसमर्पण करना चाहते हैं. राजेश ठाकुर ने बुधवार (19 अप्रैल) को पुलिस के समक्ष आधिकारिक रूप से आत्मसमर्पण किया है. दरअसल, राजेश ठाकुर कुछ महीने पहले ही माओवादी संगठन छोड़ कर भाग गया था. बाद में वह पलामू पुलिस के संपर्क में आ कर आत्मसमर्पण कर किया है.

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दबिश के बाद कमजोर हुआ नक्सली संगठन:माओवादियों के सांगठनिक ढांचे और कई बिंदुओं पर राजेश ठाकुर के साथ बातचीत की. माओवादी राजेश ने ईटीवी भारत को बताया कि टॉप कमांडर संदीप यादव की मौत के बाद नक्सली संगठन बिखर गया है. संदीप यादव की मौत के बाद सभी लीडर इधर-उधर भागने लगे और संगठन कमजोर पड़ गया है. जून-जुलाई 2022 में संदीप यादव की मौत बीमारी से छकरबंधा में हो गई थी. राजेश ठाकुर ने एक और बड़ा खुलासा करते हुए कहा कि प्रशांत बोस की गिरफ्तारी के बाद प्रमोद मिश्रा को कमान सौंपी गई थी. प्रमोद मिश्रा फिलहाल कहां है इसके बारे में किसी को जानकारी नहीं है.

आत्मसमर्पण कर, लौटना चाहते मुख्यधारा में:राजेश ने कहा कि माओवादी धीरे-धीरे कमजोर होते जा रहे हैं. झारखंड बिहार सीमावर्ती इलाकों में कुछ ही सदस्य बचे हैं, जो आत्मसमर्पण करना चाहते हैं. उसने बताया कि लेवी का सारा पैसा मांओवादियों के टॉप लीडर के पास जमा होता है. पैसों का इस्तेमाल या उपयोग के बारे में छोटे कमांडरों की जानकारी नहीं दी जाती है. राजेश ठाकुर की उम्र 36 वर्ष है और 2014 से नक्सल संगठन में सक्रिय रहा है. राजेश ठाकुर ने इंटर तक की पढ़ाई की है और एक 12 वर्ष की उसकी बेटी है. राजेश ठाकुर ने बताया कि आत्मसमर्पण करने के बाद वह बेहद खुश है. अब वह सामान्य जीवन जीना चाहता है.

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