पलामू: बाबा बागेश्वर के कार्यक्रम से संबंधित मामले में झारखंड हाईकोर्ट ने बुधवार को मुख्य सचिव और डीजीपी को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से हाजिर होने को कहा है. दरअसल, धीरेंद्र शास्त्री उर्फ बाबा बागेश्वर के कार्यक्रम की अनुमति संबंधी मामले की सुनवाई हाईकोर्ट में चल रही है. श्री हनुमंत कथा आयोजन समिति के संयोजक अरुण शंकर ने बताया कि पलामू जिला प्रशासन ने विधि व्यवस्था का हवाला देते हुए बाबा बागेश्वर के कार्यक्रम की अनुमति को रद्द कर दिया है.
जब इसकी जानकारी हाईकोर्ट को हुई तो अदालत ने मुख्य सचिव और डीजीपी को बुधवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम हाजिर होने को कहा है. आयोजन समिति ने जानकारी दी है कि हाईकोर्ट ने टिप्पणी की है कि जब धार्मिक कार्यक्रम की विधि व्यवस्था नहीं संभाल सकते तो क्या राजनीतिक रैलियों की सुरक्षा कर पाएंगे. आयोजन समिति के संयोजक अरुण शंकर ने बताया कि हाईकोर्ट पर उन्हें पूरा भरोसा है.
दरअसल, पलामू में चैनपुर प्रखंड के ओड़नार में बाबा बागेश्वर का कार्यक्रम 10 से 15 फरवरी के बीच निर्धारित किया गया है. इससे पहले दिसंबर में पलामू के खंनवा में बाबा बागेश्वर का कार्यक्रम निर्धारित किया गया था. शुरुआत में जिला प्रशासन ने कार्यक्रम की अनुमति दी थी लेकिन बाद में पर्यावरण का हवाला देते हुए अनुमति को रद्द कर दिया गया था.
आयोजन की अनुमति को लेकर श्री हनुमंत कथा आयोजन समिति हाईकोर्ट गई थी. हाईकोर्ट में पूरे मामले में सुनवाई चल रही है. इससे पहले हाईकोर्ट ने मुख्य सचिव और पलामू डीसी से शपथ पत्र भी मांगा था. हाईकोर्ट ने प्रशासन से यह भी जानकारी मांगी थी कि बाबा बागेश्वर के कार्यक्रम को लेकर जिन शर्तों को रखा गया, उन शर्तों को पिछले दो वर्षों के अंदर कौन कौन से कार्यक्रम में रखा गया है. इससे पहले जिला प्रशासन ने श्री हनुमंत कथा आयोजन समिति के पदाधिकारियों के साथ बैठक भी की थी. हालांकि इस बैठक में कई बिंदु पर स्थिति स्पष्ट नहीं हो पाई थी.