पाकुड़: केंद्र की मोदी सरकार रेल का निजीकरण कर रेलकर्मियों को नौकरी से बेदखल करने का काम कर रही है. मोदी कार्यकाल में लाभकारी संस्थाओं को बेचने का काम हो रहा है. हमारे पास अब एक ही रास्ता बच गया है कि निजीकरण का पुरजोर तरीके से विरोध करना है. ये बातें रेलवे मैदान में आयोजित जोनल वुमन काउंसिल सामान्य सभा को संबोधित करते हुए ईस्टर्न रेलवे मेंस यूनियन कोलकाता की अध्यक्ष चपला बनर्जी ने कही.
सरकार रच रही साजिश
ईआरएमयू की प्रेसिडेंट बनर्जी ने कहा कि रेलकर्मी और रेल कठिनाइयों के दौर से गुजर रहा है. रेल और देश की परिस्थिति विकट हो गई है. रेल को बेचने की साजिश केंद्र सरकार रच रही है. जिसका एकजुट होकर हमें विरोध करना है. उन्होंने कहा कि रेल का निजीकरण हो जाएगा तो रेलकर्मियों का क्या होगा. यूनियन की अध्यक्ष ने कहा कि केंद्र सरकार 150 ट्रेनों का निजीकरण कर की साजिश रच रही है, हमें इससे सावधान रहने की जरूरत है.