कोडरमाः जिले में आवारा कुत्तों का आतंक लगातार बढ़ता जा रहा हैं. आवारा कुत्तों के डर से सड़कों पर राहगीरों को चलने में डर लग रहा है, वहीं विभाग के पास आवारा कुत्तों पर लगाम लगाने के लिए कोई ठोस उपाय नहीं है.
कोडरमा में आवारा कुत्तों का आतंक, नगर निकाय के पास आवारा कुत्तों को पकड़ने के लिए नहीं हैं कोई व्यवस्था
कोडरमा में इन दिनों आवारा कुत्तों का आतंक बढ़ गया है. जिससे लोगों को भय के साये में जिना पड़ रहा. यही नहीं कुत्तों के सड़कों पर रहने से आए दिए सड़क दुर्घटानएं हो रही है, लेकिन नगर निकाय के पास आवारा कुत्तों को पकड़ने के लिए कोई व्यवस्था नहीं हैं. हालांकि सदर अस्पताल में एंटी रेबीज वैक्सीन भारी मात्रा में उपलब्ध कराया गया है और यहां आने वाले सभी लोगों को एंटी रेबीज वैक्सीन उपलब्ध भी कराया जा रहा है.
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वहीं, दूसरी तरफ आवारा कुत्तों से लोगों को सुरक्षित करने के लिए नगर निकाय के पास कोई ठोस रणनीति नहीं है. नगर पंचायत के कार्यपालक पदाधिकारी जितेंद्र कुमार जैसल की मानें तो विभाग के पास फिलहाल न तो कोई फंड उपलब्ध है न ही आवारा कुत्तों को पकड़ने के लिए कोई विशेषज्ञ. जिले के मरकच्चो प्रखंड और जयनगर प्रखंड में हाल के दिनों में आवारा कुत्तों ने कई लोगों को अपना शिकार भी बनाया है. हालांकि सदर अस्पताल में एंटी रेबीज वैक्सीन भारी मात्रा में उपलब्ध है और यहां आने वाले सभी लोगों को एंटी रेबीज वैक्सीन उपलब्ध भी कराया जा रहा है. लॉकडाउन के कारण कुत्तों के भोजन पर भी आफत आन पड़ी है. ऐसे में भूखे-प्यासे आवारा कुत्ते इंसानी जिंदगी के लिए खतरनाक साबित हो रहे हैं.