खूंटीः खूंटी में दो पक्षों का विवाद जिला प्रशासन ने फिलहाल सुलझा लिया है, लेकिन तनाव पूरी तरह से खत्म नहीं हुआ है. प्रशासन की कार्रवाई के बाद पूजा समितियां नाराज हो गईं हैं, उन्होंने एकतरफा कार्रवाई का आरोप लगाया है और रामनवमी नवमी न मनाने का फैसला किया है. इधर, मामला राजनीतिक मोड़ लेने लगा है. इस विवाद में भाजपा की एंट्री हो गई. एक तरफ झारखंड के पूर्व ग्रामीण विकास मंत्री नीलकंठ सिंह मुंडा ने जिला प्रशासन के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है और खूंटी थाने में दर्ज 55 नामजद और 500 अज्ञात के खिलाफ एफआईआर रद्द नहीं होने पर आंदोलन का ऐलान किया है तो दूसरी तरफ केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा की खूंटी में एंट्री हो रही है. हालांकि विवाद पर पुलिस ने सफाई पेश की है.
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बता दें कि घटना के चौथे दिन शुक्रवार को व्यापारियों ने शहर की सभी दुकानें स्वतः बंद रखीं. इधर, भाजपा कार्यालय में प्रेस कांफ्रेंस में पूर्व ग्रामीण विकास मंत्री नीलकंठ सिंह मुंडा ने प्रशासन की कार्रवाई पर ऐतराज जताया और कार्रवाई को गलत बताते हुए चेतावनी दी. भाजपा विधायक नीलकंठ सिंह मुंडा ने दो पक्षों में हुए विवाद को प्रशासन की नाकामी बताया और कहा कि प्रशासनिक लापरवाही के विरोध में धरना देंगे. अगर शुक्रवार शाम तक प्रशासन केस वापस नहीं लेता तो आगे की रणनीति बनाई जाएगी.
सुनें क्या कहते हैं विधायक नीलकंठ सिंह मुंडा विधायक नीलकंठ सिंह मुंडा ने कहा की पुलिस प्रशासन की लापरवाही से खूंटी में दो गुटों की झड़प यह बताता है कि झारखंड की हेमंत सरकार बेकार है. प्रेस कॉन्फ्रेंस में भाजपा जिलाध्यक्ष चंद्र शेखर गुप्ता, पूर्व जिलाध्यक्ष कासी नाथ महतो, उपाध्यक्ष संजय साहू, युवा मोर्चा अध्यक्ष राजेश महतो, मीडिया प्रभारी रूपेश जायसवाल, नगर अध्यक्ष सुरेश जायसवाल समेत भाजपा नेता मौजूद थे.
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केंद्रीय मंत्री बोले-प्रशासन नहीं कर रहा ठीकः इधर, खूंटी में रामनवमी के जुलूस को लेकर चल रहे विवाद के बीच शुक्रवार शाम को ही सांसद सह केंद्रीय मंत्री अर्जुन खूंटी पहुंच रहे हैं. उन्होंने इसकी जानकारी सोशल मीडिया के माध्यम से दी. उन्होंने बताया कि खूंटी में जिस प्रकार से चीजें हो रही है, यह सही नहीं है. बुधवार तक यह मामला शांत हो गया था. लेकिन गुरुवार को फिर अनावश्यक ढंग से मुकदमा करके इस मामले को प्रशासन ने और उलझा दिया है.
खूंटी जुलूस विवाद में अर्जुन मुंडा का ट्वीट एफआईआर से प्रशासन के खिलाफ रोषःइससे पहले गुरुवार को जिला प्रशासन ने शांति समिति की बैठक की और दोनों पक्षों ने आपसी भाईचारे को लेकर भरोसा दिलाया. साथ ही कहा कि जिले में मिलजुलकर और शांतिपूर्ण रामनवमी मनाई जाएगी. लेकिन देर शाम विवाद के मामलों में 55 नामजद और 500 से अधिक शहरवासियों पर एफआईआर दर्ज होने की जानकारी लोगों को मिली. इससे प्रशासन के खिलाफ लोगों की नाराजगी उभर आई.
शांति समिति ने उतारे झंडे-बैनरः अगले दिन सुबह होते ही रामनवमी समितियों ने धीरे-धीरे शहर से रामनवमी महोत्सव के साज-सज्जा के लिए लगाए गए बैनर पोस्टर और झंडे उतारने शुरू कर दिए. इसी बीच अचानक विधायक नीलकंठ सिंह मुंडा भी रामनवमी समितियों के पक्ष में उतर गए और केस वापसी की मांग को लेकर धरना प्रदर्शन का ऐलान कर दिया. उन्होंने जिला प्रशासन की लापरवाही पर खुलकर बोला. उन्होंने कहा कि पुलिस उपद्रव फैलाने वालों के खिलाफ सख्ती करे न कि वैसे लोगों के खिलाफ जो भाईचारा बनाए रखना चाहते हैं.
एसपी बोले स्थिति नियंत्रण मेंः इधर, इस मामले को लेकर खूंटी एसपी अमन कुमार ने बताया कि जिला मुख्यालय का माहौल पूरी तरह से शांत और नियंत्रण में है. कहीं भी तनाव जैसे कोई हालात नहीं हैं. दोनों समुदायों से बात हुई है. दोनों ओर से सहयोग की भावना दिखाई गई थी.उन्होंने कहा कि एहतियात के तौर पर खूंटी समेत अन्य स्थानों पर पर्याप्त संख्या में सुरक्षा बल तैनात किया गया है और निर्दोष लोगों को डरने की जरूरत नहीं है. एफआईआर की निष्पक्ष जांच होगी, ऐसा नहीं है कि एफआईआर में जो नाम दर्ज हैं उन्हें जेल भेज दिया जाएगा. पुलिस लोगों की सुरक्षा के लिए है, न की किसी को प्रताड़ित करने के लिए. उन्होंने कहा कि क्षेत्र में आपसी सद्भाव बना रहे. इसके लिए दोनों पक्षों से बात करने की कोशिश की जा रही है, जो भी कंफ्यूजन है उसे दूर किया जाएगा. रामनवमी का त्योहार शांति पूर्वक संपन्न हो, इसके लिए रांची से अतिरिक्त पुलिस बल मंगाया गया है. सभी को जरूरत के मुताबिक तैनात करने की व्यवस्था की गई है. त्योहार शांतिपूर्वक हर्षोल्लास के साथ संपन्न हो इसकी पूरी व्यवस्था की गई है.