गिरिडीहः जिले के बगोदर प्रखंड में कोनार नहर परियोजना के बह जाने के सौ घंटे बाद मरम्मती कार्य शुरू हो गया है. 40 साल पुराने कोनार नहर के उद्घाटन के16 घंटे बाद ही नहर का बह जाने का मामला सूबे में इन दिनों चर्चा का विषय बना हुआ है.
अधिकारियों की देखरेख में मरम्मती का कार्य शुरू
नहर बहने के सौ घंटे बाद मरम्मती शुरू हो गया है. कोनार नहर परियोजना डुमरी डिवीजन के अधिकारियों की देखरेख में मरम्मती का कार्य किया जा रहा है. विभाग ने मरम्मती का कार्य चार- पांच दिनों में पूरा करने का दावा किया है. सहायक अभियंता राहुल कुमार ने बताया कि फिलहाल मिट्टी भरकर तटबंध की मरम्मत की जा रही है.
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फसलों की बर्बादी की क्षतिपूर्ति का होगा भुगतान
मरम्मती कार्य का बगोदर विधायक नागेंद्र महतो ने जाएजा लिया. उन्होंने कहा कि नहर के पानी से जिन किसानों की फसलों बर्बाद हुई है उन्हें भी क्षतिपूर्ति का भुगतान किया जाएगा. कोनार नहर के बहने से फसलों को भारी नुकसान पहुंचा था. बगोदर प्रखंड के कुसमरजा के निकट घोसको के पास कच्चा नहर का तटबंध 28 अगस्त को देर रात टूट गया था. इससे नहर का पानी खेतों में चला गया और मकई की तैयार फसल सहित धान की फसलों को भारी नुकसान पहुंचा था.
सीएम ने किया था नहर का उद्घाटन
उतरी छोटानागपुर का बहुप्रतीक्षित कोनार नहर सिंचाई परियोजना का सीएम रघुवर दास ने 28 अगस्त को उद्घाटन किया था. विष्णुगढ़ प्रखंड के बनासो से सटे बिलंडी के पास उद्घाटन समारोह का आयोजन किया गया था. इलाके की बहुप्रतीक्षित योजना का उद्घाटन 40 साल में किया गया था. इससे किसानों में खुशी की लहर थी, लेकिन कुसमरजा पंचायत के घोसको, खटैया, बरवाडीह जैसे गांव के सैकड़ों किसानों के लिए यह खुशी कुछ हीं घंटे बाद निराशा में बदल गई थी.