रांची: गिरिडीह में प्रशासन की ओर से तीन मुर्दों पर एफआईआर का मामला अब राजनीतिक रूप लेने लगा है. बीजेपी के कई नेता इस मामले को लेकर सरकार को घेरने की कोशिश कर रहे हैं. बीजेपी नेता बाबूलाल मरांडी ने कहा कि झारखंड सरकार अब मुर्दों पर भी केस करने में पीछे नहीं है.
ये भी पढ़ें-पुलिस की प्राथमिकी में जिंदा हुए मृत लोग! झड़प मामले में सीओ ने बना दिया नामजद
बीजेपी विधायक दल के नेता बाबूलाल मरांडी ने ट्वीट कर लिखा है कि 'झारखंड पुलिस अब मुर्दों पर भी केस करने में पीछे नहीं है. 15 अगस्त को गिरिडीह के बेंगाबाद में हुए सड़क दुर्घटना के बाद ग्रामीणों ने विरोध प्रदर्शन किया था. वहां के सीओ ने प्रदर्शन में शामिल 45 नामजद के ऊपर केस दर्ज करने का आवेदन दिया है जिसमें तीन लोग अब इस दुनिया में है ही नहीं.'
बीजेपी के प्रदेश प्रवक्ता प्रतुल शाहदेव ने इस मामले पर अपने ट्विटर पर झारखंड के सीएम हेमंत सोरेने और केंद्रीय गृह मंत्रालय को टैग कर लिखा है कि 'इस सरकार में फर्जी मुकदमों ने सभी रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं. जिंदा लोगों पर दबाव के लिए फर्जी मुकदमे हो ही रहे थे. अब सरकार ने मुर्दों पर भी केस करना शुरू कर दिया है. आपके कार्यकाल में यह जो परंपरा शुरू हुई है वह राजनीतिक मर्यादा के लिए उचित नहीं है माननीय हेमंत सोरेन जी.'
दरअसल, गिरिडीह जिला के बेंगाबाद थाना अंतर्गत कर्णपुरा मोड़ में बीते दिनों हुई दुर्घटना के बाद प्रशासन और स्थानीय लोगों के बीच हुई झड़प मामले में मृतकों को भी नामजद अभियुक्त बना दिया गया है. बेंगाबाद सीओ की पिटाई मामले में सीओ की ओर से दर्ज करायी गयी प्राथमिकी में तीन मृत लोगों को नामजद अभियुक्त बनाया गया है. ईटीवी भारत ने ही पहली बार इस खबर को प्रमुखता के साथ प्रकाशित किया था.
पिछले दिनों कर्णपुरा मोड़ के पास हुई पुलिस-पब्लिक झड़प में बेंगाबाद सीओ ने मृत लोगों के नाम प्राथमिकी में डालकर उन्हें नामजद आरोपी बना दिया. एफआईआर दर्ज होने के बाद जब उनमें मृतकों के नाम शामिल होने की पुष्टि हुई तो सभी हैरत में पड़ गए. ग्रामीणों ने बिना जांच पड़ताल और सत्यापन के ही प्रशासन पर मामला दर्ज करने का आरोप लगाया. ग्रामीणों का कहना है उस घटना में कई निर्दोष लोगों के नाम पर एफआईआर दर्ज किया गया है.
इस मामले को लेकर मृतक नामजद अभियुक्त के परिजनों ने इंसाफ की गुहार लगाई है. इधर मृतकों को नामजद अभियुक्त बनाए जाने पर पुलिस निरीक्षक सह बेंगाबाद थाना प्रभारी कमलेश पासवान ने कहा कि पूछताछ में नाम सामने आया था, सीओ के आवेदन के आधार पर मामला दर्ज किया गया है. उन्होंने आश्वासन देते हुए कहा कि सत्यापन कर मृत लोगों का नाम हटा दिया जाएगा.
इस संबंध में कर्णपुरा पंचायत के भोजदहा निवासी जुबैदा खातून और तैरुन बीबी ने बताया कि उनके पति गुलाम रसूल और मो. इदरीस को नामजद अभियुक्त बनाया गया है, जबकि इन दोनों की मृत्यु पूर्व में ही हो गयी है. वहीं सिमराधाब निवासी मो. शमीम ने बताया कि उस घटना में उनके पिता दिलजान मियां को भी नामजद अभियुक्त बनाया गया है. जबकि उनके पिता की मृत्यु 2019 में ही हो चुकी है.
क्या है मामला
15 अगस्त को स्वतंत्रता दिवस के दिन गिरिडीह-दुमका मुख्य मार्ग एनएच 114-ए पर कर्णपुरा मोड़ के पास एक अनियंत्रित कार एक दुकान में घुस गई थी, इस हादसे में तीन लोग घायल हुए थे. दुर्घटना के बाद उग्र ग्रामीणों और पुलिस प्रशासन के बीच नोक-झोंक हो गयी थी. इसी दौरान कुछ असामाजिक तत्वों ने बेंगाबाद सीओ की पिटाई कर दी. इसी मामले में सीओ के लिखित आवेदन के आधार पर 42 नामजद और लगभग 45 जब्त बाइक के विरुद्ध थाना में मामला दर्ज किया गया था.