गिरिडीहः जिले में नक्सलियों के खिलाफ शिकंजा और तेजी से कसेगा. नक्सलियों का खात्मा करने के लिए प्रशासन ने कमर कस ली है. इसी के तहत 15 नक्सलियों के विरुद्ध गैरकानूनी गतिविधियों का मुकदमा चलाने की स्वीकृति दे दी गई है. अलग-अलग मामले में यह स्वीकृति दी गई है.
एक मामला खुखरा थाना कांड संख्या 25/2018 एवं दूसरा मामला डुमरी थाना कांड संख्या 59/2016 से संबंधित है. खुखरा थाना कांड संख्या 25/2018 दिनांक 27.12.2018 में नक्सली नुनूचंद महतो, कार्तिक महतो एवं श्याम मुर्मू उर्फ श्याम मांझी के विरुद्ध यूएपी एक्ट, 1967 की धारा 10/13 के तहत अभियोजन चलाने की स्वीकृति दी गई है.
यह तीनों इस कांड के नामजद अभियुक्त हैं. बता दें कि गिरिडीह डीसी राहुल कुमार सिन्हा ने 5 नवंबर 2019 को सरकार को खुखरा थाना कांड संख्या 25/2018 के प्राथमिकी अभियुक्त नुनूचंद महतो, कार्तिक महतो एवं श्याम मुर्मू के विरूद्घ यू़एपी एक्ट, 1967 की धारा - 10/13 के तहत अभियोजन चलाने के लिए स्वीकृति आदेश देने को लेकर एक प्रस्ताव भेजा था.
इसी प्रस्ताव पर गृह कारा एवं आपदा प्रबंधन विभाग झारखंड रांची के प्रधान सचिव राजीव अरूण एक्का द्वारा प्रथम दृष्टया दोषी मानते हुए नुनूचंद महतो, कार्तिक महतो एवं श्याम मुर्मू के खिलाफ अभियोजन चलाने की स्वीकृति प्रदान किया है. इसका आदेश गिरिडीह डीसी एवं एसपी को प्राप्त हो गया है.
इन पर कसेगा शिकंजा
इधर डुमरी थाना कांड संख्या 59/2016 दिनांक 16 अगस्त 2016 में नुनूचंद महतो उर्फ नुनू बाबा उर्फ गांधी, पवन मांझी उर्फ लंगडा, करमचंद हांसदा उर्फ चमन, अजय महतो उर्फ अजय जी उर्फ टाईगर, संतोष महतो उर्फ संतोष किस्कु, साहेब राम मांझी, अजय उर्फ पतिराम मांझी उर्फ रमेश उर्फ पतिराम मरांडी, कृष्णा हांसदा उर्फ अविनाश, रामदयाल महतो उर्फ बच्चन दा उर्फ अमर दा, पंकज मांझी उर्फ बाटो दा, रणविजय महतो उर्फ नेपाल महतो, चिन्टू बेसरा उर्फ जगदेव एवं सुनिल मुर्मू के विरूद्ध यूएपी एक्ट, 1967 की धारा-13 के तहत अभियोजन चलाने की स्वीकृति दी गई है. यह स्वीकृति भी गृह कारा एवं आपदा प्रबंधन विभाग झारखंड रांची के प्रधान सचिव राजीव अरूण एक्का द्वारा दी गई है.
इन नक्सलियों को प्रथम दृष्टया दोषी माना है. गिरिडीह डीसी राहुल कुमार सिन्हा ने इस कांड में अभियोजन स्वीकृति के लिए 16 जून 2020 को ही एक प्रस्ताव सरकार को भेजा था.