जमशेदपुर: वैश्विक संकट कोरोना वायरस के कहर से पूरी दुनिया त्राहिमाम है. वहीं, इस संक्रमण से बचने के लिए लोग घरों में बंद है. लॉकडाउन में आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति के लिए किराना स्टोर और मेडिकल स्टोर को खोलने की इजाजत दी गई है. इसके साथ ही बाजार दूर होने और परिवहन सेवा बंद होने के कारण कई ऐसी महिलाएं हैं. जिन्हें लॉकडाउन में सेनेटरी पैड नहीं मिल रहा है.
कोरोना वायरस के संकट से निजात पाने की कवायद में वैज्ञानिक और चिकित्सा जगत की टीम दिन रात जुटी हुई है. लॉकडाउन में जहां लोगों को खाने पीने की समस्या से दो-चार होना पड़ रहा है. वहीं, लॉकडाउन में महिलाओं से जुड़ी माहवारी में महिलाओं को सेनेटरी पैड की खासी कमी महसूस हो रही है. आधुनिकता और डीजल तकनीकी के योग में जमशेदपुर की कई महिलाएं सैनिटरी नैपकिन का इस्तेमाल नहीं कर पाती हैं. बल्कि माहवारी के दौरान पुराने कपड़े का इस्तेमाल करती हैं. इस माहवारी में अगर सफाई का ध्यान न रखा जाए तो बीमारी फैलने का खतरा बना रहता है. जिससे कई बार महिलाओं में संक्रमण बढ़ने का खतरा भी बढ़ जाता है. कई बार महिलाएं माहवारी जैसे विषयों पर अपने घरों और आसपास के लोगों से भी खुलकर चर्चा नहीं कर पाती है. जिसके कारण महिलाओं को बेचैनी का सामना करना पड़ता है.
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