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इस हाथी को रुपया खाना पसंद है, जानिए क्या है माजरा - scam in PM housing scheme

घाटशिला के गगनडीह सबर टोला में पीएम आवास के लाभुकों को आधा-अधूरा बना आवास सौंप दिया गया है. मकान पूरे नहीं होने से नाराज ग्रामीणों ने बिचौलिये पर सरकारी राशि के गबन का आरोप लगाते हुए मकान के पूरी तरह से निर्माण की मांग की है.

rigging in PM housing scheme
पीएम आवास योजना में धांधली

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Published : Jul 12, 2021, 12:18 PM IST

घाटशिला: हाथी को आपने अनाज खाते देखा होगा, खेत में लगी फसल को चट करते हुए देखा होगा. लेकिन क्या कोई हाथी रुपये खा सकता है. आपका जवाब होगा नहीं. लेकिन घाटशिला में कुछ ऐसा ही हो रहा है. दरअसल हम बात कर रहे हैं हाथी नामक एक बिचौलिये की जिस पर पीएम आवास योजना के नाम पर लाखों रुपये हड़प कर जाने का आरोप लगा है. दरअसल इसी हाथी नामक बिचौलिये ने गहनडीह सबर टोला में आवास निर्माण का ठेका लिया हुआ था, जिसने आधा अधूरा आवास बनाकर ग्रामीणों को सौंप दिया है. अब ग्रामीण रुपये हड़प जाने का आरोप लगा रहे हैं.

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6 सबर परिवारों को मिला अधूरा आवास

घाटशिला के उपरपावड़ा गहनडीह के 6 सबर परिवारों को आधा अधूरा बना आवास मिला है. इन परिवारों ने बिचौलिये हाथी से कई बार मकान पूरा करने की गुहार लगाई है लेकिन इसका कोई असर नहीं हुआ. कुछ सबर परिवारों के मुताबिक वे अपने पैसे लगाकर घर का जैसे तैसे निर्माण करा रहे हैं. उनके मुताबिक किसी मकान में प्लास्टर नहीं तो किसी में खिड़की दरवाजे गायब, इन सबर परिवारों ने आरोप लगाया कि बिचौलिये हाथी ने मकान के नाम पर सरकार से मिले पैसे का गबन किया है.

टूटे घरों में रहने की मजबूरी

पीएम आवास का निर्माण पूरी तरह से नहीं होने के कारण ये सबर परिवार टूटे-फूटे घरों में रहने को विवश हैं. बरसात के दिनों में छत टपकने के कारण इनकी मुश्किलें और भी बढ़ जाती है. इन लोगों ने पीएम आवास के निर्माण को पूरा कराने के लिए गुहार लगाई है.

गांव में सड़क और पानी की समस्या

ग्रामीणों के मुताबिक उनके टोले में आने के लिए जो सड़क है पूरी तरह कीचड़ से भरा रहता है. जिससे इन लोगों को आने जाने में लोगों को काफी कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है. स्थानीय लोगों के मुताबिक इस गांव में पानी की भी समस्या है. यहां बनाए गए दो जलमीनार पूरी तरह खराब हैं, गांव में लगा चापाकल भी पूरी तरह खराब है. जाहिर है इस गांव के लोगों तक सरकारी योजनाओं का लाभ नहीं पहुंच रहा है और जो योजनाएं पहुंच भी रही हैं, उसकी राशि हाथी जैसे बिचौलिये डकार जा रहे हैं. ऐसे में जरूरत है इन पर कार्रवाई की ताकि गांवों में सरकारी योजनाओं को सही तरीके से पहुंचाया जा सके.

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