धनबाद: जिला से बरवाअड्डा थाना क्षेत्र अंतर्गत कुर्मीडीह के रहने वाले आर्मी जवान के पिता का अपहरण कर लिया गया. इसके बाद उन्हें धमका कर अपराधियों ने थाना के पास छोड़ दिया. वहीं दूसरी तरफ इस मामले की शिकायत के बाद भी दोषियों पर पुलिस द्वारा कार्रवाई नहीं की गयी. इतना ही नहीं जवान के साथ ही पुलिस द्वारा गाली गलौज और बदसलूकी की गई. जिसके विरोध में भारी संख्या में ग्रामीणों ने थाना का घेराव कर दिया. जिसके बाद पुलिस ने कार्रवाई का आश्वासन दिया है.
Crime News Dhanbad: लैंड माफिया की दबंगई, आर्मी जवान के पिता को किया अगवा - father kidnapped over land dispute
धनबाद में जमीन विवाद और दबंगई आम बात है. लेकिन शहर में लैंड माफिया का दुस्साहस इतना बढ़ गया है कि वो किसी की भी जमीन कब्जाने के लिए कुछ भी कर सकते हैं. बरवाअड्डा थाना क्षेत्र में ऐसा मामला सामने आया है. जहां जमीन विवाद में आर्मी जवान के पिता का अपहरण कर लिया गया. हद तो इस बात की है कि पुलिस आरोपी पर कार्रवाई ना कर उल्टे पीड़ित परिवार से ही गाली गलौज कर रही है.
धनबाद के बरवाअड्डा थाना क्षेत्र के कुर्मीडीह जमीन विवाद में दबंगई का मामला सामने आया है. जिसमें जम्मू में पोस्टेड भारतीय सेना के जवान कैलाश कुमार के पिता की जमीन पर दबंगों के द्वारा जबरन कब्जाने की कोशिश की गयी. इतना ही नहीं दबंगों द्वारा उसके पिता का अपहरण कर लिया गया, बाद में धमकी देकर उन्हें थाना के पास छोड़ दिया. इसको लेकर दर्जनों ग्रामीणों ने आरोपी फिरोज अंसारी समेत अन्य लोगों की गिरफ्तारी की मांग को लेकर थाना का घेराव किया और जमकर नारेबाजी की.
बरवाअड्डा थाना का घेराव करने के बाद स्थानीय जिप सदस्य प्रतिनिधि दिलीप चौधरी, झामुमो नेता वकील महतो, भाजपा नेता धर्मजीत सिंह के नेतृत्व में थाना प्रभारी से वार्ता हुई. जहां पुलिस के द्वारा ग्रामीणों को आरोपियों पर कार्रवाई का आश्वासन दिया गया. आर्मी जवान ने मीडिया से बात करते हुए बताया कि जमीन विवाद का मामला पूर्व से चल रहा है. एसएसपी से भी मामले की शिकायत की गई है लेकिन दबंगों के द्वारा उनके पिता का अपहरण कर लिया गया. जिसके बाद उनके पिता को थाना में लाकर बैठा दिया गया जबकि अपहरण करने वालों पर किसी प्रकार की कोई कार्रवाई नहीं की गई है. वहीं सेना के जवान एवं उसके पिता तीरथ नाथ महतो ने दो दिन पूर्व दिए गए आवेदन पर कार्रवाई नहीं करने का आरोप लगाया. जिस पर पुलिस ने कार्रवाई का भरोसा दिया है. लेकिन अगवा किए गए व्यक्ति को थाना में बैठाना और दबंगों पर किसी तरह की कार्रवाई ना करना, ये तमाम बातें पुलिस की कार्यशैली पर सवाल खड़ा कर रहा है.