धनबाद: जिले के बांकुड़ा में आए 4.8 रिक्टर स्केल पैमाने पर भूकंप की तीव्रता यदि प्वाइंट तीन या चार बढ़ जाती तो बड़ा नुकसान हो सकता था. बिल्डिंगों में दरारें, पुराने पुल और माइंस सहित कई बहुमंजिली इमारतें भूकंप की जद में आ सकते थे.
ईटीवी से खास बातचीत में आईटीआई, आईएसएम के भूकंप विशेषज्ञ प्रो. पीके खान ने बताया कि भूकंप की जानकारी के लिए पूरे राज्य में करीब दस से बारह स्टेशन होने चाहिए, ताकि इन स्टेशनों पर भूकंप की स्थितियों का अध्ययन किया जा सके. साथ ही इन स्टडी सेंटर की सहायता से भूकंप पर वैज्ञानिक शोध किया जा सके. अगर बिहार की बात करें तो वहां दस स्टेशन बनाया भी जा चुका है.