देवघर: झारखंड सरकार का बजट सत्र शुरू होते ही हर वर्ग की तरह बुजुर्गों में भी सरकार से आस बढ़ गई है. बता दें कि 3 मार्च को सरकार राज्य के लिए बजट पेश करेगी. ईटीवी भारत से बात करते हुए बुजुर्गों ने अपने हित के लिए कई मांगें रखी है. उनका कहना है कि सरकार उनके लिए मौलिक सुविधाएं उपलब्ध कराएं.
सरकार के बजट सत्र से बढ़ी बुजुर्गों की आस, ईटीवी भारत पर बुजुर्गों ने दी अपनी प्रतिक्रिया
3 मार्च को राज्य सरकार बजट पेश करेगी. ईटीवी भारत से बात करते हुए बुजुर्गों ने अपने हित के लिए कई मांगें रखी हैं. उन्होंने कहा कि उम्र का पड़ाव खत्म होते ही वे असमर्थ हो जाते हैं ऐसे में इन्हें इनकम टैक्स से बाहर रखा जाना चाहिए.
बुजुर्गों के अनुसार सरकार की तरफ से मिलनेवाली पेंशन की राशि से इनका गुजारा नहीं चल पाता है और पेंशन की राशि मिलते ही बच्चे ले लेते हैं. ऐसे में सरकार को इसके बदले वृद्धा आश्रम का निर्माण कर सभी मौलिक सुविधाएं उपलब्ध कराने पर ध्यान देना चाहिए. इसके साथ ही पुरानी पेंशन व्यवस्था लागू की जानी चाहिए और नई पेंशन योजना को बंद कर देना चाहिए. बातचीत के दौरान बुजुर्गों ने कहा कि उम्र का पड़ाव खत्म होते ही वे असमर्थ हो जाते हैं ऐसे में इन्हें इनकम टैक्स से बाहर रखा जाना चाहिए. इसके साथ ही बुजुर्गों की मूल सुविधा सुचारु रूप से मिले.