रांची: छठी जेपीएससी सिविल सेवा परीक्षा परिणाम के पूरे प्रक्रिया को ही रद्द करने की मांग को लेकर आंदोलनकारी अभ्यर्थियों ने लॉकडाउन की वजह से अपने-अपने घरों, बालकनी और घर के पास सोशल डिस्टेंस मेंटेन करते हुए विरोध प्रदर्शन किया. इनका समर्थन कई वर्तमान और पूर्व विधायकों ने भी किया है, जिसमें कुणाल षाड़ंगी जैसे पूर्व विधायक का नाम भी शामिल है.
छठी जेपीएससी सिविल सेवा परीक्षा में गड़बड़ियों को लेकर जेपीएससी के आंदोलनकारी अभ्यर्थियों ने विरोध करने का एक बेहतरीन तरीका निकाला है. बता दें कि छठी जेपीएससी सिविल सेवा परीक्षा के फाइनल रिजल्ट में हुए विवाद गहराता जा रहा है. इसे लेकर कुछ अभ्यर्थी वर्ग आक्रोशित और आंदोलित भी हैं लेकिन सड़कों पर निकलकर प्रदर्शन नहीं कर पा रहे हैं. देशभर में लॉकडाउन के कारण ऐसे अभ्यर्थी वर्ग आंदोलन की रूपरेखा भी तैयार नहीं कर रहे हैं लेकिन मंगलवार को राज्य के सभी 24 जिलों में इसके खिलाफ छात्र राज्यव्यापी निजी प्रदर्शन करते जरूर दिखे. ये विरोध प्रदर्शन का नया तरीका है, कहीं ना कहीं यह तरीका भी पीएम मोदी की सोच के साथ मेल खाता है. विद्यार्थियों ने लॉकडाउन के कारण अपने-अपने घर, हॉस्टल और लॉज की बालकनी, दरवाजे के बाहर खाली सड़क, खाली मैदान में अकेले और पांच साथियों के साथ सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते हुए प्लेकार्ड के साथ 5 मिनट तक थाली घंटी बजाते नजर आए. इसके अलावा मसाल और जेपीएससी का पुतला जलाकर प्रदर्शन भी किया. छठी जेपीएससी का परिणाम आने के बाद से ही कुछ अभ्यर्थी वर्ग काफी नाराज है.