रांची: झारखंड में निवेशकों को आकर्षित करने के लिए हेमंत सरकार ने नई औद्योगिक नीति 2021 लाया है. जिसके तहत झारखंड में पांच लाख लोगों को रोजगार और एक लाख करोड़ के निवेश का लक्ष्य रखा गया है. इसे जमीन पर उतारने के लिए उद्योग विभाग की सचिव पूजा सिंघल (Pooja Singhal) ने गुरुवार को झारखंड चैम्बर ऑफ कॉमर्स सहित विभिन्न व्यवसायिक संगठनों के साथ बैठक की. राजधानी के एक होटल में आयोजित इस बैठक में राज्य सरकार के विभिन्न विभागों के अधिकारी मौजूद रहे.
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उद्योग लगाने के लिए लंबित आवेदन पर हुई चर्चा
बैठक में उद्योग सचिव पूजा सिंघल ने झारखंड औद्योगिक एवं निवेश प्रोत्साहन नीति -2021 के बारे में जानकारी देते हुए व्यवसायियों की समस्याओं को जाना. चैम्बर ऑफ कामर्स की ओर से विभिन्न विभागों में लंबित पड़े आवेदनों की शिकायत की गई. जियाडा और अन्य विभागों से समन्वय के अभाव के कारण राज्य के उद्योगपतियों को हो रही परेशानी को बैठक में प्रमुखता से रखा गया. झारखंड चैम्बर ऑफ कामर्स के अध्यक्ष प्रवीण जैन ने विभागीय सचिव के सामने शिकायत दर्ज कराते हुए कहा कि जियाडा और अन्य विभागों में बनी कमिटी में एडवाइजर व्यवसायिक संगठनों को बनाया जाय. उन्होंने कहा कि क्लियरेंस के लिए लंबित आवेदन एक निश्चित समय में निष्पादित हो.
उद्योग सचिव ने अधिकारियों को दिए निर्देश
उद्योग सचिव पूजा सिंघल ने सभी विभागों के अधिकारियों को अगले महीने तक कम से कम पचास प्रतिशत तक क्लियरेंस पूरा करने का निर्देश दिया है. पूजा सिंघल ने कहा कि बेबजह आवेदन को पेंडिंग नहीं रखा जाय. व्यवसायिक संगठनों के साथ हर महीने बैठक होगी. जिसमें उनकी समस्या का समाधान किया जाएगा. साथ ही लंबित आवेदन की भी समीक्षा की जाएगी. दो सत्रों में चली इस बैठक में उद्योग निदेशक जितेंद्र कुमार सिंह के अलावा, ऊर्जा विभाग, वन विभाग, प्रदुषण नियंत्रण विभाग सहित कई विभाग के अधिकारी उपस्थित थे.
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