रांची: राज्य के लोगों की सुविधा के लिए झारखंड सरकार जल्द ही जमीन से संबंधित सभी दस्तावेजों को ऑनलाइन करने जा रही है. भू-राजस्व विभाग जमीन से संबंधित पुराने रिकॉर्ड को डिजिटलाइजेशन के तहत 2 पेज में ऑनलाइन करेगा. इसमें फर्स्ट पेज में देश की आजादी के बाद से साल 2008 तक के सभी दस्तावेजों को ऑनलाइन प्रक्रिया में लाने के लिए सारी तैयारी कर ली है. हालांकि 2008 के बाद तमाम दस्तावेज ऑनलाइन हो चुके हैं.
1860 से 1947 तक के सभी जमीनी दस्तावेज होंगे ऑनलाइन, भू-राजस्व विभाग ने किया खाका तैयार - x Ranchi News
झारखंड में भू-राजस्व ने सभी जमीनी दस्तावेजों को ऑनलाइन करने का फैसला किया है. इसके पहले विभाग 2008 के दस्तावेजों को ऑनलाइन कर चुका है.
फर्स्ट फेज में ऑनलाइन प्रक्रिया में लाने के लिए राज्य सरकार की अनुमति मिलते ही जमीन के सारे रिकॉर्ड ऑनलाइन हो जाएंगे. इससे राज्य के लोगों को काफी सुविधा मिलेगी. पुराने रिकॉर्ड ऑनलाइन प्रक्रिया में नहीं होने से लोगों को सत्यापित प्रतिलिपि प्राप्त करने के लिए कई तरह की समस्याओं का सामना करना पड़ता है. इसलिए भी कि पुराने दस्तावेज के रिकॉर्ड से सत्यापित लिपि निकालने के लिए लोगों को काफी महीनो इंतजार करना पड़ता है. जिला अवर निबंधक अविनाश कुमार ने बताया कि जमीन संबंधी दस्तावेजों को 2 फेज में ऑनलाइन करने की तैयारी पूरी हो गई है. रांची, खूंटी और लोहरदगा जिले के अधिकतर दस्तावेज का रिकॉर्ड रांची के निबंधन कार्यालय में हैं.
जमीन संबंधित कोर्ट कचहरी के चक्कर काट रहे 65 वर्षीय बुजुर्ग राजकुमार लाल ने बताया कि ऑनलाइन हो जाने से जमीन संबंधी दस्तावेजों के लिए लोगों को दिक्कत नहीं होगी. अपनी जमीन संबंधी दस्तावेजों को कहीं भी किसी वक्त भी देख सकते हैं. इसके कारण धोखाधड़ी से भी छुटकारा मिलेगा और लोगों को कोर्ट कचहरी के चक्कर नहीं काटने पड़ेंगे. पुराने दस्तावेज के रिकॉर्ड से सत्यापित लिपि निकालने के लिए लोगों को काफी महीने इंतजार करना पड़ता है.