रांचीः झारखंड लोक सेवा आयोग (Jharkhand Public Service Commission) सिविल सेवा पीटी रिजल्ट में गड़बड़ी को लेकर विवाद बढ़ता जा रहा है. एक तरफ छात्र इस रिजल्ट के खिलाफ सड़कों पर हैं, वहीं दूसरी तरफ आयोग चुप्पी साधे हुए है. छात्रों के आंदोलन का समर्थन भारतीय जनता पार्टी ने किया है. बीजेपी के साथ साथ-कांग्रेस और झारखंड चैंबर ऑफ कॉमर्स (Jharkhand Chamber of Commerce) ने भी इसकी जांच की मांग की है.
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बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष दीपक प्रकाश ने जेपीएससी की कार्यप्रणाली की आलोचना करते हुए कहा है कि जिस तरह से 7वीं से 10 वीं जेपीएससी सिविल सेवा पीटी रिजल्ट में गड़बड़ी सामने आयी है, उससे साफ लगता है कि दाल में कुछ काला है. उन्होंने साहिबगंज, लातेहार और लोहरदगा के परीक्षा केंद्रों पर हुई गड़बड़ी पर नाराजगी जताते हुए इसकी जांच की मांग की है. इसको लेकर पूर्व केंद्रीय मंत्री और कांग्रेस नेता सुबोधकांत सहाय ने जेपीएससी के कामकाज पर दुख जताया है. उन्होंने कहा कि यह संस्था हमेशा विवादों में रहकर झारखंड के छात्रों के भविष्य से खिलवाड़ करती रही है. उन्होंने उम्मीद जतायी कि हेमंत सरकार जेपीएससी को जरूर दुरुस्त करेगी.
छात्रों की मांग का चैंबर ऑफ कॉमर्स ने किया समर्थनआंदोलनरत जेपीएससी छात्रों को चैंबर ऑफ कॉमर्स का साथ मिला है. झारखंड चैंबर ऑफ कॉमर्स के उपाध्यक्ष दीनदयाल वर्णवाल ने राज्य सरकार से जेपीएससी सिविल सेवा पीटी परीक्षा को रद्द करने की मांग करते हुए इसकी जांच कराकर दोषी अधिकारियों पर कार्रवाई करने की मांग की है.
15 नवंबर को छात्र होंगे गोलबंद जेपीएससी के खिलाफ विभिन्न छात्र संगठन 15 नवंबर को गोलबंद होकर आंदोलन करेंगे. छात्र नेता सफी इमाम और मनोज यादव ने कहा कि जेपीएससी के खिलाफ छात्र संगठन वृहद आंदोलन करेंगे. उन्होंने सरकार से परीक्षा रद्द करने की अपील करते हुए इसकी जांच की मांग की है. झारखंड लोक सेवा आयोग की ओर से हाल में ही 7वीं से 10वीं सिविल सेवा पीटी परीक्षा का परिणाम जारी किया गया है. प्रारंभिक परीक्षा के रिजल्ट में गड़बड़ी के आरोप लग रहे हैं. आरोप लगाने वाले अभ्यर्थी परीक्षा को रद्द करने और इस पूरे मामले की जांच कराने की मांग कर रहे हैं.
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जानिए क्या है विवाद का वजह
दरअसल लगातार क्रमांक संख्या वाले दर्जनों अभ्यर्थी प्रारंभिक परीक्षा में पास हुए हैं. अब इस पर गंभीर सवाल उठने लगे हैं. सीरियल नंबर से लगभग 33 विद्यार्थियों के चयन को लेकर विवाद की बात सामने आ रही है.
झारखंड लोक सेवा आयोग की ओर से सातवीं (2017), आठवीं (2018), नौवीं (2019) और 10वीं (2020) की प्रारंभिक परीक्षा 19 सितंबर 2021 को राज्य के 1102 केंद्रों पर ली गयी थी. सोमवार यानी 1 नवंबर को जेपीएससी द्वारा जारी रिजल्ट में एक ही सीरिज के कुल 33 विद्यार्थियों का चयन हुआ है. छात्र संगठनों का कहना है कि सीरियल रोल नंबर से प्रतीत होता है कि एक ही केंद्र के सभी अभ्यर्थियों का चयन हो गया है, जारी रिजल्ट में कुछ रोल नंबर विभिन्न कैटेगरी से हैं यानि कुछ रोल नंबर अनारक्षित कोटा से हैं तो कुछ रोल नंबर आरक्षित श्रेणी के हैं. छात्रों ने कुछ रोल नंबर को जारी करते हुए कहा कि इनका चयन समझ से परे है.
छात्रों द्वारा जारी रोल नंबर में 52342865, 52342866, 52342867, 52342868, 52342869, 52342870, 52342871, 52342874, 52342876, 52342878, 52342879, 52342880, 52342881, 52342883, 52342884, 52342885, 52342886 शामिल हैं. जबकि दूसरी सूची में 52236887, 52236888, 52236889, 52236890, 52236891, 52236892, 52236893, 52236894, 52236895, 52236896, 52236897, 52236898, 52236899, 52236900, 52236901, 52236902 शामिल हैं.