रांची:गुरुवार को झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कानून व्यवस्था को लेकर बैठक की (Review Meeting On Law And Order). बैठक के दौरान मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने अधिकारियों को यह निर्देश दिया कि राज्य में कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए बेहतर कदम उठाए, कानून का राज सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है. विशेषकर उग्रवाद और अपराधिक घटनाओं पर हर हाल में लगाम कसा जाना चाहिए ताकि भयमुक्त वातावरण बनाए रखा जा सके.
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नक्सल प्रभावित जिलों में विशेष कार्य योजना:बैठक के दौरान मुख्यमंत्री ने कहा कि बूढ़ा पहाड़, पारसनाथ और सारंडा समेत नक्सल प्रभावित इलाकों में पुलिस की उपस्थिति में शिविर लगाकर ग्रामीणों को सरकार की योजनाओं का लाभ दें. इसके साथ यहां बिजली, पानी, सड़क जैसी मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध कराई जाए. इससे पुलिस के प्रति लोगों की विश्वसनीयता बढ़ेगी और उग्रवादी घटनाओं को आम जनता के सहयोग से नियंत्रित करने में मदद मिलेगी. पुलिस अधिकारियों ने मुख्यमंत्री को बताया कि सुरक्षाबलों के द्वारा नक्सल प्रभावित इलाकों में सिविक एक्शन प्लान चलाकर लोगों को जरूरत के सामान लगातार उपलब्ध कराए जा रहे हैं.
युवाओं को रोजगार से जोड़े:मुख्यमंत्री ने कहा कि उग्रवाद प्रभावित इलाकों में ग्रामीणों विशेषकर युवाओं को रोजगार से जोड़ने पर उग्रवादी घटनाओं पर काफी हद तक अंकुश लग सकता है. उन्होंने पुलिस अधिकारियों ने कहा कि वे ग्रामीण इलाकों में तैनात सुरक्षाबलों की जरूरत के सामानों को ग्रामीणों से लें. इससे उन्हें रोजगार मिलने के साथ आय में भी वृद्धि होगी. मुख्यमंत्री ने कहा कि इसके लिए यथासमय जो भी जरूरत की चीज होगी सरकार मुहैय्या कराएगी. सीएम ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि अगर नक्सल प्रभाव वाले इलाकों में सड़क और पूल-पुलिया बनाने की अगर जरूरत है तो उसकी पूरी मैपिंग कराएं और सरकार को इसकी रिपोर्ट दें. इसके बाद यहां पुल पुलिया और सड़क बनाने की पहल की जाएगी, ताकि नक्सलियों के खिलाफ ऑपरेशन चलाने में सुरक्षा बलों को दिक्कतों का सामना नहीं करना पड़े.
एक महीने के अंदर सभी जेलों में जैमर लगाने के निर्देश:जेल से रंगदारी और दूसरे तरह के हो रहे आपराधिक घटनाओं को लेकर भी सीएम ने निर्देश दिए हैं. जेलों में बंद कई अपराधियों द्वारा मोबाइल या अन्य माध्यमों से अपराधिक घटनाओं को अंजाम देने की शिकायत लगातार मिल रही है. इस पर हर हाल में रोक लगनी चाहिए. मुख्यमंत्री ने पुलिस अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिया कि राज्य के सभी जेलों में एक माह के अंदर जैमर लगाने की प्रक्रिया पूरी कर ली जाए.
आगामी पर्व त्योहारों को देखते हुए सुरक्षा व्यवस्था पुख्ता करें:मुख्यमंत्री ने कहा कि कुछ ही दिनों में फेस्टिव सीजन की शुरुआत हो रही है. इस बार दुर्गा पूजा बड़े पैमाने पर हो रहा है, जिसमें भारी भीड़ उमड़ने की संभावना है. ऐसे में दिसंबर तक पूरे राज्य को हाई एलर्ट पर रखते हुए सुरक्षा व्यवस्था के पुख्ता इंतजाम की जाए. शांति और सद्भाव बना रहे, इसके लिए पुलिस सभी जरूरी और ठोस कदम उठाए. मीटिंग के दौरान हाल के दिनों में नक्सल वारदातों में आई कमी को लेकर एक पूरी ब्रीफिंग भी सीएम को दी गई. उसे जुड़े प्रमुख बातें सीएम को विस्तार से बताई गईं.
● केंद्रीय गृह मंत्रालय द्वारा कोडरमा रामगढ़ और सिमडेगा को उग्रवाद प्रभावित जिलों से हटाने के बाद राज्य में नक्सल प्रभावित जिलों की संख्या 16 हो गई है, इनमें 8 जिले अति नक्सल प्रभावित है जबकि 8 जिलों में मॉडरेट नक्सली गतिविधियां हो रही है. वहीं 8 जिले उग्रवाद से मुक्त हैं.
● राज्य में सुरक्षाबलों द्वारा द्वारा चलाए जा रहे ऑपरेशन की वजह से उग्रवादियों द्वारा दिए जाने वाले घटनाओं में लगातार कमी आ रही है. प्रतिबंधित उग्रवादी संगठन भाकपा माओवादियों द्वारा 22, पीएलएफआई के द्वारा 13, टीपीसी के द्वारा 9 और जेजेएमपी के द्वारा 10 घटनाओं को अंजाम दिया गया.
● वर्ष 2020 से अभी तक पुलिस एवं नक्सलियों के बीच 108 बार मुठभेड़ हुआ है. इन मुठभेड़ों में 27 नक्सली मारे गए हैं. 2020 से अभी तक 45 नक्सलियों ने आत्मसमर्पण किया है. इसके अलावा 1131 नक्सलियों की गिरफ्तारी हुई है. नक्सलियों द्वारा पुलिस से लूटे गए 138 हथियार (आर्म्स) और 774 आईईडी बरामद करने में पुलिस को सफलता मिली है.
● बूढ़ा पहाड़, पारसनाथ, सारंडा, पोड़ाहाट और चतरा-गया के सीमावर्ती इलाकों में 31 मार्च 2022 तक 25 नए फॉरवर्ड पोस्ट / कैंप स्थापित किए गए हैं. वहीं, इन चित्रों में 15 नए पोस्ट भी बनाए जा रहे हैं, इससे इन इलाकों में अगर कोई उग्रवादी घटना होती है तो सुरक्षाबलों को तुरंत मोर्चे पर ऑपरेशन के लिए भेजा जा सके.
आपराधिक गिरोहों के खिलाफ एटीएस को लगातार मिल रही सफलता:राज्य में आपराधिक गिरोहों के खिलाफ एटीएस को लगातार सफलता मिल गई है. एटीएस शीर्ष अपराधिक गिरोह के 32 आरोपियों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल कर चुकी है. इनके पास से 51 अत्याधुनिक हथियार और 10 हजरा के लगभग कारतूस भी बरामद हुए हैं. आपराधिक गिरोहों के अपराधियों के पास से लगभग 76 लाख 97 हज़ार रुपए नगद बरामद किए गए हैं. कई इंटर स्टेट अपराधिक गिरोहों का पर्दाफाश करने में एटीएस को सफलता मिली है.